एक स्त्री रोग विशेषज्ञ को उसकी इमानदारी भारी पड़ी। मामला पूणे के अस्पताल का है जहां एक डॉ ने गर्भपात करने से मना कर दिया तो उस पर घातक हमला कर दिया गया। शनिवार को पिंपल सौदागर स्थित सखी अस्पताल में 20 सप्ताह के भ्रूण का अबॉर्शन पर डॉ अमोल बिदकर ने मना कर दिया तो एक अज्ञात व्यक्ति ने उस पर जानलेवा हमला कर दिया। डॉ अमोल बिदकर के बाईं कंधे पर और एक उंगली में गहरी चोट आई है। लेकिन किसी तरह वो वहां से अपनी दो बेटियों के साख भागने में तैयार हो गया। सांगवी पुलिस ने धारा 324 और 506 के तहत केस दर्ज करके मामले की जांच शुरु कर दी हैं।
बिड़कर ने बताया कि हमला करने वाला 25 साल का था और 20 दिन पहले दो महिलाओं के लेकर मेरे क्लिनिक में आया था। उस आदमी ने ये कहा था कि छोटी महिला दो महीने की गर्भवती थी और अबॉर्शन करवाना चाहती है। लेकिन जांच करने पर पता चला कि वो महिला साढ़े चार महीने से गर्भवती थी। और उन्होनें उस आदमी से ये कहा कि इस अवस्था में अबॉर्शन करना जान के लिए खतरा हो सकता हैं। उसके बाद वो आदमी डॉ से अबॉर्शन करने के लिए जबरदस्ती करने लगा तो डॉ ने नियमों का हवाला देकर इससे इनकार कर दिया। उसके बाद भी 1 हफ्ते पहले ही उसने फिर से फोन करके डॉ से अबॉर्शन करने के लिए अनुरोध किया। लेकिन डॉ ने ये कह कर मना कर दिया कि भ्रूण अब 5 महीनें का हो गया होगा।
फिर लगभग 9.45 बजे, हमलावर डॉ के केबिन में तीन अन्य आदमियों के साथ घुस गया, और फिर से अबॉर्शन के लिए अनुरोध किया। जब डॉ ने फिर से मना कर दिया तो उसने धारदार हथियार निकाल कर डॉ पर हमला कर दिया। पहले कंधे पर मारा फिर उंगली पर।
लेकिन किसी तरह मैं अपनी बेटियों के साथ वहां से भागने में सफल रहा। लेकिन साथ ही आरोपी भी वहां से भाग गया।