पत्नी की हत्या के आरोपी अमनमणि त्रिपाठी को टिकट देकर भले ही समाजवादी पार्टी निशाने पर आ गई हो लेकिन अपराधियों को सभी पार्टियां गोद में ही बिठाती हैं।
प्रदेश में राजनीति-अपराधियों और धनबल का गठजोड़ तोड़ना आसान नहीं है। इसकी बानगी 2012 के विधानसभा चुनाव में जीतकर आए विधायकों को लेकर एडीआर और इलेक्शन वॉच की रिपोर्ट में देखी जा सकती है।
इसके मुताबिक भाजपा के 53.2 फीसदी, सपा के 49.6 और बसपा के 36.3 विधायक आपराधिक छवि के हैं। इनमें से कई के खिलाफ हत्या, लूट, डकैती, बलात्कार जैसे गंभीर आपराधिक मामले हैं।
सीबीआई ने अपनी पत्नी की हत्या के आरोप में नौतनवा (महराजगंज) से सपा प्रत्याशी अमनमणि त्रिपाठी को गिरफ्तार किया है। उसके खिलाफ पहले से कई केस हैं। उसके पिता अमरमणि त्रिपाठी और मां भी हत्या के आरोप में आजीवन कारावास की सजा काट रहे हैं। इसके बावजूद सपा ने अमनमणि को प्रत्याशी बना दिया।