केंद्र सरकार ने जहां केंद्रीय कर्मचारियों को 1 फीसदी अतिरिक्त महंगाई भत्ते का तोहफा दिया है. वहीं, इसके साथ ही सरकार ने निजी क्षेत्र की कंपनियो में काम करने वाले कर्मचारियों को भी एक सौगात दी है. प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की अध्यक्षता में हुई कैबिनेट बैठक में ग्रेच्युटी भुगतान (संशोधन) बिल को संसद में लाने को मंजूरी दे दी गई है.
संसद में पेश होगा बिल
संसद में अगर यह बिल पास हो जाता है, तो प्राइवेट कंपनियों में काम करने वाले कर्मचारी 20 लाख रुपए तक ग्रेच्युटी विद्ड्रॉ कर पाएंगे. इसके लिए उन्हें किसी भी तरह का टैक्स भी नहीं भरना होगा. मौजूदा समय में यह सुविधा सिर्फ केंद्रीय कर्मचारियों को हासिल है. निजी कंपनियों के कर्मचारी फिलहाल 10 लाख रुपए तक ही ग्रेच्युटी विद्ड्रॉ कर सकते हैं.
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महंगाई की वजह से लिया फैसला
सरकार ने कहा है कि ग्रेच्युटी की लिमिट बढ़ाने का फैसला महंगाई की वजह से लिया गया है. इसके अलावा कर्मचारियों का वेतन भी बढ़ा है. इन चीजों को ध्यान में रखकर ही इस बिल को संसद में पेश करने को मंजूरी दी गई है.
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ये है ग्रेच्युटी
कर्मचारियों के योगदान को सराहने के लिए कंपनियां ग्रेच्युटी देती हैं. ग्रेच्युटी एक्ट के तहत आने वाली कंपनियां तब ग्रेच्युटी अपने कर्मचारियों को देती हैं, जब वे कंपनी में 5 या उससे ज्यादा साल बिताते हैं. ग्रेच्युटी अमेंडमेंट बिल में 10 लाख विद्ड्रॉअल की लिमिट को टैक्स फ्री 20 लाख करने का प्रस्ताव रखा गया है. ग्रेच्युटी एक्ट उन सभी कंपनियों पर लागू होता है, जहां 10 या उससे ज्यादा लोग काम करते हैं.
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