नोटबंदी को एक साल हो चुका है, लेकिन पुरी स्थित भगवान जगन्नाथ मंदिर प्रशासन 500 और 1000 रुपये के पुराने नोटों को लेकर अब भी परेशानी में है. वह यह निर्णय नहीं कर पा रहा है कि उन 18 लाख रुपये का क्या करे, जो उसे चलन से बाहर हुए 500 और 1000 रुपये के नोट दान में मिले हैं.
श्री जगन्नाथ मंदिर प्रशासन के प्रशासक प्रदीप कुमार दास ने कहा, ‘हम दानपात्र में मिले करीब 18 लाख रुपये का इस्तेमाल नहीं कर पा रहे हैं. ये चलन से बाहर हो चुके 500 और 1000 रुपये के नोट में हैं.’ चलन से बाहर हो चुके नोट को बदलने के लिए आरबीआई की 31 दिसम्बर 2016 की समयसीमा समाप्त होने के बाद मिले.
आरबीआई को लिखे कई पत्र
उन्होंने कहा कि एसजेटीए ने रिजर्व बैंक को कई पत्र लिखकर मामले पर विचार करने का अनुरोध किया था लेकिन उसे केंद्रीय बैंक से कोई सकारात्मक प्रतिक्रिया नहीं मिली.
अभी भी आ रहे 1000 500 के नोट
सूत्रों ने बताया कि अभी भी प्रत्येक दिन मंदिर को दान के रूप में जो करीब तीन लाख रुपये मिलते हैं, उसमें से करीब 3000 से पांच हजार रुपये चलन से बाहर हो चुके नोट में होते हैं.