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दो दशक से युवाओं के दिलों पर राज करने वाली Yahoo Messenger, 17 जुलाई से होगी बंद

पिछले दो दशक तक युवाओं के दिल पर राज करने वाली इंस्टेंट मैसेजिंग चैट सर्विस Yahoo Messenger, 17 जुलाई से शट डाउन हो रह़ी है। हांलाकि इस इंस्टेंट मैसेजिंग सर्विस का इस्तेमाल करने वाले यूजर्स अपने पुराने मैसेज डाउनलोड कर सकते हैं। याहू ने कहा कि यूजर्स अपने सारे मैसेज 6 महीने तक डाउनलोड कर सकेंगे। कंपनी Yahoo Messenger की जगह एक नया इंस्टेंट मैसेजिंग एप Squirrel ला रही है। इस नए एप की बीटा टेस्टिंग के लिए यूजर्स अभी से अप्लाई कर सकते हैं। 1998 से युवाओं के बीच लोकप्रिय Yahoo Messenger चैट की शुरुआत 1998 में हुई थी। यह मैसेंजर एप भारतीय युवाओं के बीच काफी लोकप्रिय थी। खासतौर पर याहू मैसेंजर के चैट रूम की वजह से युवा इसे पसंद करते थे, लेकिन गूगल के जी-चैट, फेसबुक मैसेंजर और व्हॉट्सएप के आने के बाद से याहू की लोकप्रियता में जबरदस्त गिरावट आई और अंतत: कंपनी को इस सेवा को बंद करना पड़ रहा है। हांलाकि याहू ने समय-समय पर मैसेंजर को रिवाइव करने की कोशिश भी की, लेकिन व्हॉट्सएप जैसे मैसेजिंग एप के सामने, यूजर्स ने इसे नकार दिया। कंपनी ने पिछले साल दिसंबर में ही याहू मैसेंजर के एंड्रॉयड, आइओएस और वेव वर्जन को अपडेट किया था। रिलॉन्च करना नहीं आया काम याहू मैसेंजर को दिसंबर 2015 में रिलॉन्च किया गया था। कंपनी ने इसके सबसे पहले वाले वर्जन को फेज आउट करके बिलकुल नए कलेवर के साथ उतारा था। जिसमें मैसेंजर के डिजाइन और लुक को पूरी तरह से बदल दिया गया था। नए मैसेंजर मे सबसे खास अनसेंड फीचर दिया गया था, जिसमें यूजर्स भेजे गए मैसेज को ट्रेस-आउट करके उसे रोक सकते थे। हांलाकि इन सब बदलाव के बावजूद याहू यूजर्स के दिल में अपनी पहचान बनाने में नाकामयाब रही, जिसकी वजह से 20 साल पुराने मैसेंजर सेवा को 17 जुलाई से पूरी तरह से बंद किया जा रहा है। गूगल से मिली चुनौती याहू को सबसे ज्यादा चुनौती गूगल से मिली है। Yahoo Messenger के वेब वर्जन को पहले जी-चैट ने फिर एप वर्जन को गूगल हैंगआउट और व्हॉट्सएप से चुनौती मिली। लोग गूगल हैंगआउट और व्हॉट्सएप को ज्यादा पसंद करने लगे और याहू की लोकप्रियता में कमी आती गई। अब देखते हैं कि याहू का नया इंस्टेंट मैसेजिंग एप लोगों की कसौटी पर खड़ी उतरती है या नहीं।

पिछले दो दशक तक युवाओं के दिल पर राज करने वाली इंस्टेंट मैसेजिंग चैट सर्विस Yahoo Messenger, 17 जुलाई से शट डाउन हो रह़ी है। हांलाकि इस इंस्टेंट मैसेजिंग सर्विस का इस्तेमाल करने वाले यूजर्स अपने पुराने मैसेज डाउनलोड कर सकते …

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दिवाली तक 34 हजार पर पहुंच जाएगा सोना? इस वजह से बढ़ेंगे दाम

इस साल दिवाली पर आपके लिए सोना खरीदना महंगा साबित हो सकता है. विश्लेषकों का मानना है कि दिवाली तक सोना 30 हजार से 34 हजार रुपये प्रति 10 ग्राम पर पहुंच सकता है. इनके मुताबिक डॉलर के मुकाबले कमजोर हो रहा रुपया और भू-राजनीतिक तनाव की वजह से सोने के दाम बढ़ सकते हैं. कॉमट्रेंड्ज रिस्क मैनेजमेंट के निदेशक ज्ञानशेखर त्यागराजन ने कहा, ''इस साल दिवाली तक घरेलू बाजार में सोना 30 हजार से 34000 रुपये प्रति 10 ग्राम के स्तर पर पहुंच सकता है. वहीं, अंतरराष्ट्रीय बाजार में इसकी कीमत 1,260 से 1,400 डॉलर प्रति औंस के करीब रह सकती है.'' उन्होंने कहा कि रेट में कटौती का असर मुद्रास्फीति में वृद्ध‍ि के तौर पर दिख सकता है. इससे बुलियन मार्केट में सोने की मांग बढ़ सकती है. इसके अलावा रुपये के डॉलर के मुकाबले अभी और नीचे जाने की आशंका है. ऐसे में दिवाली तक इसका असर सोने की कीमतों पर देखने को मिल सकता है. त्यागराजन ने कहा कि वैश्व‍िक बाजार में सोना रेंज में है. ऐसा इसलिए हुआ है क्योंकि बॉन्ड यील्ड्स में लगातार बढ़ोतरी हो रही है. इसके अलावा डॉलर भी मजबूत हो रहा है. इसके अलावा वैश्व‍िक अन‍िश्च‍ितता और भू-राजनीतिक तनाव का असर भी सोने की कीमतों पर दिखेगा. उन्होंने कहा कि आने वाले दिनों में अगर रेट में कटौती बढ़ती है, तो डॉलर पर दबाव बढ़ सकता है. इससे अमेरिका में व्यापार सुगमता पर असर देखने को मिल सकता है. ऐसे में मुझे लगता है कि दूसरी तिमाही में निवेशक सोने की तरफ रुख कर सकते हैं. इसमें अपना निवेश बढ़ा सकते हैं. वहीं, कमोडिटी एंड करंसी मैनेज‍िंग डायरेक्टर प्रीति राठी का मानना है कि दिवाली तक सोना 31,500 से 31,800 के स्तर पर रह सकता है. उन्होंने भी भू-राजनीतिक तनाव और डॉलर के कमजोर होने का असर भी सोने की कीमतों पर दिखने की बात कही है. एंजेल ब्रोकिंग के मुख्य विश्लेषक प्रथमेष मलय ने कहा कि अमेरिका में ब्याज दर में वृद्धि की काफी ज्यादा संभावना है. इससे सोने में जारी उतार-चढ़ाव सीम‍ित होगा. इससे दिवाली के दौरान सोना 31,500 रुपये के ऊपरी स्तर पर पहुंच सकता है.

इस साल दिवाली पर आपके लिए सोना खरीदना महंगा साबित हो सकता है. विश्लेषकों का मानना है कि दिवाली तक सोना 30 हजार से 34 हजार रुपये प्रति 10 ग्राम पर पहुंच सकता है. इनके मुताबिक डॉलर के मुकाबले कमजोर …

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कैसी को-स्टार हैं जाह्नवी, ‘धड़क’ के ट्रेलर र‍िलीज से पहले ईशान ने बताया

एक्ट्रेस श्रीदेवी की बेटी जाह्नवी कपूर की डेब्यू बॉलीवुड फिल्म 'धड़क' का ट्रेलर 11 जून दिन सोमवार को र‍िलीज हो रहा है. इस फिल्म में जाह्नवी के अपोजिट शाह‍िद कपूर के भाई ईशान खट्टर होंगे. दोनों स्टार ट्रेलर के लॉन्च होने का बेसब्री से इंतजार कर रहे हैं. फैंस भी बॉलीवुड की चांदनी श्रीदेवी की बेटी को फिल्मी दुन‍िया में कदम रखते देखने के लिए उत्सुक हैं. ईशान एक बेहतरीन एक्टर है ये बात उन्होंने अपनी पिछली फिल्म में साब‍ित कर दी थी. एक इंटरव्यू में ईशान ने जाह्नवी के साथ काम करने का अनुभव साझाा किया. ईशान ने कहा, जाह्नवी बहुत सकारात्मक है. उनके साथ काम करना अच्छा था क्योंकि काम को लेकर वो बहुत सजग रहती हैं. उनके होने से सेट पर भी माहौल खुशनुमा रहता है.बता दें शशांक खेतान निर्देशित यह रोमांटिक ड्रामा फिल्म 20 जुलाई को सिनेमाघरों में रिलीज की जाएगी. श्रीदेवी और बोनी कपूर की बड़ी बेटी जाह्नवी कपूर फिल्म सैराट से अपना बॉलीवुड डेब्यू कर रही है. यह फिल्म मराठी ब्लॉकबस्टर फिल्म सैराट का आधिकारिक हिंदी रीमेक है. फिल्म का प्रोडक्शन करण जौहर, अपूर्व मेहता और जी स्टूडियो मिलकर कर रहे हैं. फिल्म के बारे में हाल ही में ईशान खट्टर ने कहा था कि फिल्म में कुछ परिवर्तन किए गए हैं.

एक्ट्रेस श्रीदेवी की बेटी जाह्नवी कपूर की डेब्यू बॉलीवुड फिल्म ‘धड़क’ का ट्रेलर 11 जून दिन सोमवार को र‍िलीज हो रहा है. इस फिल्म में जाह्नवी के अपोजिट शाह‍िद कपूर के भाई ईशान खट्टर होंगे. दोनों स्टार ट्रेलर के लॉन्च …

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कन्नौज: आगरा-लखनऊ एक्सप्रेसवे पर हादसा, बस ने 6 छात्रों समेत 7 लोगों को कुचला

आगरा-लखनऊ एक्सप्रेस-वे पर सोमवार सुबह एक बड़ा हादसा हुआ. एक्सप्रेस-वे पर कन्नौज के पास रोडवेज़ की बस ने 7 लोगों को कुचल दिया. बताया जा रहा है कि इनमें से 6 छात्र थे जबकि एक टीचर था. इनकी मौके पर ही मौत हो गई. बताया जा रहा है कि ये सभी गाड़ी खराब होने के बाद एक्सप्रेस-वे पर खड़े थे, तभी तेज रफ्तार बस ने पीछे से इन्हें कुचल दिया. सभी लोग संत कबीर नगर के बताए जा रहे हैं. हादसे के बाद सरकार ने मृतकों के परिजनों के लिए 2-2 लाख रुपए और घायलों के लिए 50-50 हज़ार रुपए की मदद देने का ऐलान किया है. बता दें कि हादसे के बाद मुख्यमंत्री ने प्रभा देवी विद्यालय, संत कबीर नगर के 6 बी.टी.सी. छात्रों तथा एक शिक्षक की  दुर्घटना में मृत्यु पर गहरा शोक व्यक्त किया. मुख्यमंत्री ने जिला प्रशासन को प्रकरण की एफ.आई.आर दर्ज करने, हादसे के घायलों का समुचित उपचार कराने तथा छात्र दल के शेष सदस्यों के लिए वैकल्पिक व्यस्था सुनिश्चित कराने के भी निर्देश दिए हैं.

आगरा-लखनऊ एक्सप्रेस-वे पर सोमवार सुबह एक बड़ा हादसा हुआ. एक्सप्रेस-वे पर कन्नौज के पास रोडवेज़ की बस ने 7 लोगों को कुचल दिया. बताया जा रहा है कि इनमें से 6 छात्र थे जबकि एक टीचर था. इनकी मौके पर …

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मोदी को मात देने के लिए अखिलेश बनेंगे जूनियर पार्टनर, सीटें ‘कुर्बान’ करने को भी तैयार

नरेंद्र मोदी के नेतृत्व वाली बीजेपी को 2019 में मात देने के लिए सपा किसी भी सूरत में बसपा का साथ नहीं छोड़ना चाहती है. यही वजह है कि सपा यूपी में बसपा की जूनियर पार्टनर बनने को भी तैयार है. 2019 लोकसभा चुनाव से पहले गठबंधन को लेकर बसपा अध्यक्ष मायावती का दबाव काम आने लगा है. सपा प्रमुख अखिलेश यादव ने रविवार को मैनपुरी में एक सभा को संबोधित करते हुए कहा कि गठबंधन के लिए वह त्याग को तैयार हैं और अगर उन्हें गठबंधन करने के लिए दो-चार सीटें कम पर भी समझौता करना पड़े तो वह पीछे नहीं हटेंगे. बता दें कि मायावती ने कैराना लोकसभा उपचुनाव के पहले साफ कर दिया था कि अगर उन्हें सम्मानजनक सीटें नहीं मिलीं तो उनकी पार्टी अकेले ही चुनाव लड़ेगी. मायावती के इस बयान को राजनीतिक तौर पर एक बड़े बयान के तौर पर देखा जा रहा था, जिसमें उन्हें बड़ा पार्टनर मानने की एक जिद निहित थी. मैनपुरी में अखिलेश यादव ने एक बार फिर गठबंधन के लिए मायावती के सामने अपने हथियार डाल दिए हैं और त्याग के नाम पर उन्होंने मायावती को बड़े पार्टनर के तौर पर मंजूर भी कर लिया है. अब देखना यह है अखिलेश यादव के लगभग जूनियर पार्टनर बनने के लिए तैयार हो जाने के बाद कितनी सीटों पर दोनों पार्टियों के बीच समझौता होता है. गौरतलब है कि यूपी में कुल 80 संसदीय सीटें है. 2014 के लोकसभा चुनाव में मोदी लहर में बीजेपी गठबंधन ने 73 सीटों पर जीत हासिल की थी. सपा को 5 और कांग्रेस को 2 सीटें मिली थी.  जबकि बसपा का खाता भी नहीं खुला था. इसी तरह से पिछले साल हुए यूपी विधानसभा चुनाव में सपा ने बसपा से ज्यादा सीटें जीतने में कामयाब रही थी. हालांकि इन चुनावों में दोनों पार्टियां अलग-अलग चुनाव लड़ी थी. फूलपुर-गोरखपुर उपचुनाव में सपा को बसपा ने समर्थन किया था. इसका नतीजा था कि बीजेपी को करारी हार मिली. इसके बाद से दोनों पार्टियां के बीच रिश्ते मजबूत हुए हैं. यही वजह है कि अखिलेश यादव बसपा का साथ किसी भी सूरत में छोड़ने को तैयार नहीं है.

नरेंद्र मोदी के नेतृत्व वाली बीजेपी को 2019 में मात देने के लिए सपा किसी भी सूरत में बसपा का साथ नहीं छोड़ना चाहती है. यही वजह है कि सपा यूपी में बसपा की जूनियर पार्टनर बनने को भी तैयार …

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कपिल मिश्रा ने केजरीवाल के खिलाफ दिल्ली HC में दायर की याचिका, कल होगी सुनवाई

दिल्ली के मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल के सदन में ज्यादातर उपस्थित न रहने को लेकर आम आदमी पार्टी (आप) के बागी विधायक कपिल मिश्रा ने दिल्ली हाई कोर्ट में एक याचिका दायर की है. जिसे दिल्ली हाईकोर्ट ने स्वीकार भी कर लिया है. दिल्ली हाईकोर्ट में इस मामले की सुनवाई कल यानी मंगलवार को होगी. कपिल मिश्रा ने आरोप लगाया है कि विधानसभा के विशेष सत्र में एक दिन भी केजरीवाल नहीं आए हैं. कपिल ने याचिका में सदन में गैरहज़िर रहने पर मुख्यमंत्री की सैलरी काटने की मांग की है. उन्होंने कहा कि सदन की पिछले एक साल की 27 बैठकों में से मुख्यमंत्री केजरीवाल सिर्फ 5 बैठकों में मौजूद रहे.कपिल ने आरोप लगाया कि केजरीवाल ज्यादातर सदन में केवल अपना भाषण देने ही आते हैं, प्रश्नकाल में साढ़े तीन साल में एक बार भी मुख्यमंत्री उपस्थित नहीं रहे. उन्होंने कहा कि केजरीवाल ने सदन में आज तक एक भी विधायक के सवाल का स्वयं जवाब नहीं दिया. जल मंत्री होने के बावजूद केजरीवाल ने सदन में पानी पर एक भी सवाल का जवाब नहीं दिया. पूर्ण राज्य के विशेष सत्र में एक दिन भी केजरीवाल सदन में नहीं आए. कपिल का दावा है कि देश के इतिहास में पहली बार किसी मुख्यमंत्री के ख़िलाफ ऐसी याचिका दायर की गई है

दिल्ली के मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल के सदन में ज्यादातर उपस्थित न रहने को लेकर आम आदमी पार्टी (आप) के बागी विधायक कपिल मिश्रा ने दिल्ली हाई कोर्ट में एक याचिका दायर की है. जिसे दिल्ली हाईकोर्ट ने स्वीकार भी कर …

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पाकिस्तान: पुस्तक पर विवाद, पूर्व आईएसआई प्रमुख को सेना का समन

पाकिस्तानी सेना ने शनिवार को इंटर-सर्विसिस इंटेलिजेंस (आईएसआई) के पूर्व प्रमुख लेफ्टिनेंट जनरल (सेवानिवृत्त) असद दुर्रानी को समन जारी कर पूर्व भारतीय खुफिया प्रमुख के साथ मिलकर एक विवादास्पद पुस्तक लिखने के बारे में स्पष्टीकरण मांगा और सैन्य आचार संहिता के उल्लंघन का आरोप लगाया। दुर्रानी 1990 और 1991 के बीच आईएसआई के महानिदेशक रहे थे। उन्हें 28 मई को रावलपिंडी में स्थित जनरल मुख्यालय (जीएचक्यू) में पेश होने को कहा गया है। पाकिस्तानी सेना के प्रवक्ता मेजर जनरल आसिफ गफूर ने एक ट्विट में कहा, “पुस्तक ‘स्पाई क्रॉनिकल’ में शामिल उनके विचारों पर उनसे रुख साफ करने के लिए कहा गया है। ” उन्होंने कहा, “पुस्तक में शामिल उनके विचारों को सभी सेवारत और सेवानिवृत्त सैन्यकर्मियों पर लागू सैन्य आचार संहिता के उल्लंघन के रूप में लिया गया है।” दुर्रानी ने रिसर्च एंड एनालिसिस विंग (रॉ) के पूर्व प्रमुख अमरजीत सिंह दुलत और भारतीय पत्रकार आदित्य सिन्हा के साथ मिलकर ‘द स्पाई क्रॉनिकल : रॉ, आईएसआई एंड द इलूजन ऑफ पीस’ नामक पुस्तक लिखी है। ‘स्पाई क्रॉनिकल’ में कश्मीर पर, हाफिज सईद और 26/11, कुलभूषण जाधव, सर्जिकल स्ट्राइक, ओसामा बिन लादेन के लिए सौदेबाजी, अमेरिका और रूस की भारत-पाकिस्तान के संबंधों में भूमिका, वार्ता में दोनों देशों के प्रयासों को आतंक कैसे कमजोर करता है, इन सभी मुद्दों पर दो प्रमुख जासूसों के ²ष्टिकोण, धारणाएं और कथ्य शामिल हैं। पुस्तक में दुर्रानी ने दावा किया है कि आईएसआई को ओसामा बिन लादेन के बारे में संभवत पता था और आम सहमति की प्रक्रिया के तहत उसे अमेरिका को सौंपा जाना था। दुलत ने भी दावा किया है कि भारत को भी यही लगता था कि उसे पाकिस्तान द्वारा सौंपा गया था। जब दुलत ने सौदे के बारे में पूछा तो दुर्रानी ने स्पष्ट किया, “यह सिर्फ मेरी राय है।” वहीं दूसरी तरफ दुर्रानी का मानना है कि दो जनवरी, 2016 को पठानकोट हवाईअड्डे पर हमले के बाद जाधव को लेकर किया गया खुलासा भारतीय खतरे का सामना करने के लिए किया गया था। दुलत ने कहा, “वह खतरा क्या था।” दुर्रानी ने कहा, “भारत पठानकोट और हमारे ठिकानों के बीच कड़ियां ढूंढ़ रहा है। इसलिए हम एक तर्क के साथ आए कि हम जानते हैं कि आप बलूचिस्तान में यह सब कर रहे हो।” दोनों ही हालांकि यह मानते हैं कि भारत और पाकिस्तान को इस मामले को लेकर सावधान होना चाहिए और एक-दूसरे की हिरासत में कैद जासूसों के आदान-प्रदान को सुनिश्चित करना चाहिए। सैन्य सूत्रों ने कहा है कि जीएचक्यू को पुस्तक में की गई कुछ टिप्पणियों पर गंभीर आपत्ति है और उसने इन टिप्पणियों को आधारहीन और सच्चाई के विपरीत करार दिया है। एक सैन्य सूत्र ने पूर्व आईएसआई प्रमुख को समन करने के पीछे के कारणों का हवाला देते हुए कहा, “कोई भी कानून से बड़ा नहीं है।” दुलत और दुर्रानी इस्तानबुल, बैंकॉक और काठमांडू जैसे शहरों में मिले और उनकी कुल बैठकों से 1.7 लाख शब्द बाहर आए, जिसमें से आधे का पुस्तक में जिक्र है। पुस्तक का विमोचन पूर्व भारतीय उपराष्ट्रपति हामिद अंसारी, पूर्व प्रधानमंत्री मनमोहन सिंह, पूर्व केंद्रीय मंत्री यशवंत सिन्हा और कई राजनीतिक हस्तियों ने बुधवार को नई दिल्ली में किया।

पाकिस्तानी सेना ने शनिवार को इंटर-सर्विसिस इंटेलिजेंस (आईएसआई) के पूर्व प्रमुख लेफ्टिनेंट जनरल (सेवानिवृत्त) असद दुर्रानी को समन जारी कर पूर्व भारतीय खुफिया प्रमुख के साथ मिलकर एक विवादास्पद पुस्तक लिखने के बारे में स्पष्टीकरण मांगा और सैन्य आचार संहिता …

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सरकारी अस्‍पताल में बिना जांच के काट लिए स्मार्ट कार्ड से रुपए

सरकारी हॉस्पिटल में मरीजों को मुफ्त उपचार और सुविधाएं दी जा रही है। गरीब परिवार को कई बीमारियों की जांच सहित दवाएं का कोई फीस नहीं लिया जाता। लेकिन जिला हॉस्पिटल से लेकर सामुदायिक और प्राथमिक स्वास्थ्य केंद्रों मंे जीवन …

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सरकारी बंगला खाली करने को तैयार हुईं मायावती, योगी को लिखा पत्र, रखी ये शर्तें

लखनऊ। उत्तर प्रदेश की पूर्व मुख्यमंत्री एवं बहुजन समाज पार्टी (बसपा) की मुखिया मायावती ने अपने एक दांव से ही मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ के अधिकारियों को चित्त कर दिया है। सरकारी बंगले को खाली करने के दबाव को देखते हुए मायावती ने अब योगी को एक पत्र भेजकर सातफतौर पर यह बता दिया है कि 13ए, मॉल एवेन्यू, पूर्व मुख्यमंत्री के तौर पर आवंटित आवास नहीं है। मायावती के पत्र को लेकर शुक्रवार को पार्टी के वरिष्ठ नेता व राज्यसभा सदस्य सतीश चंद्र मिश्रा और लालजी वर्मा मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ से मिले। मायावती के प्रतिनिधि के रूप में एनेक्सी पहुंचे दोनों नेताओं ने योगी को पत्र सौंपकर बसपा शासनकाल में हुए कैबिनेट के फैसले की जानकारी दी। मायावती की तरफ से मुख्यमंत्री योगी से मिलने पहुंचे सतीश चंद्र मिश्रा ने मुलाकात करने के बाद मीडिया से मुखातिब होते हुए कहा कि पूर्व मुख्यमंत्री के तौर पर मायावती को 6, लाल बहादुर शात्री मार्ग आवंटित हुआ था, जिसको छोड़ने को वह तैयार हैं। पत्र में मायावती ने लिखा है, “13 जनवरी, 2011 को (बसपा शासनकाल) 13, माल एवेन्यू कांशीराम जी यादगार स्थल घोषित किया जा चुका है। उसके कुछ भाग में मुझे इस उद्देश्य से रहने की अनुमति दी गई थी कि इस स्थल का रखरखाव एवं सुरक्षा मेरी देखभाल में हो सके।” उन्होंने अपने पत्र में आगे कहा है, “23 दिसंबर, 2011 में राज्य संपत्ति विभाग ने 6, लाल बहादुर शास्त्री मार्ग को उन्हें आवास के रूप में आवंटित किया था। इसलिए मैं इसे खाली कर विभाग को सौंप दूंगी।” मायावती ने आगे लिखा है, “कांशीराम यादगार स्थल का रखरखाव जो प्राइवेट कर्मी करते थे, वह मेरे ही बंगले में रहकर करते थे, लेकिन अब जो मेरा निजी मकान है, उसमें इतनी जगह नहीं है कि मैं इन कर्मियों को रख सकूं। इसलिए इनके ठहरने की व्यवस्था करने तक मुझे समय दिया जाए।” मायावती ने ये भी अनुरोध किया है कि कांशीराम यादगार विश्राम स्थल की देखरेख और सुरक्षा राज्य संपत्ति विभाग करे और अगर किसी तरह की दिक्कत विभाग को होती है तो पहले की तरह ही बसपा को इसके लिए अधिकृत करे। गौरतलब है कि पिछले दिनों सुप्रीम कोर्ट ने पूर्व मुख्यमंत्रियों को आजीवन आवास देने के कानून को रद्द कर दिया था। इसके बाद राज्य संपत्ति विभाग ने प्रदेश के छह पूर्व मुख्यमंत्रियों को सरकारी बंगला 15 दिन में खाली करने के लिए नोटिस जारी किया था। इस पर बसपा प्रमुख मायावती ने अपने बंगले 13ए, माल एवेन्यू पर ‘श्री कांशीराम जी यादगार विश्राम स्थल’ का बोर्ड लगाकर यह बताने का प्रयास किया है कि उनका बंगला कांशीराम के अनुयायियों की स्मृतियों से जुड़ा है। लेकिन, राज्य संपत्ति विभाग ने मामले पर सीधा जवाब देते हुए कहा कि सिर्फ बोर्ड लगा देने से शीर्ष अदालत के आदेश पर अमल कराने में कोई बाधा नहीं है। उन्हें हर हाल में सरकारी आवास खाली ही करना होगा।

लखनऊ। उत्तर प्रदेश की पूर्व मुख्यमंत्री एवं बहुजन समाज पार्टी (बसपा) की मुखिया मायावती ने अपने एक दांव से ही मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ के अधिकारियों को चित्त कर दिया है। सरकारी बंगले को खाली करने के दबाव को देखते हुए मायावती …

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मुरैना जिला अस्‍पताल में नर्सों से अभद्रता कर धमकी दी, दो घंटे परेशान हुए मरीज

जिला अस्पताल के मेडिकल वार्ड में एक युवक ने साथियों के साथ नर्सों से अभद्रता करते हुए उन्हें जान से मारने की धमकी दी। इसी युवक की परिचित महिला ने चार दिन पहले भी नर्सों से अभद्रता की थी। इसकी शिकायत थाने में की गई थी। शनिवार को युवक शिकायत वापस लेने लिए नर्सों को धमकाने पहुंचा। अभद्रता व धमकी के बाद अस्पताल की सभी नर्सों ने काम बंद कर दिया और सीएस कार्यालय के सामने नारेबाजी की। इस दौरान परेशान मरीज नर्सों के पास आए। इसके बाद कुछ नर्स सीएस कार्यालय पर रुक गर्इं। बाकी ने वार्डों में जाकर काम शुरू कर दिया। हालांकि घटनाक्रम में दो घंटे अस्पताल में काम नहीं हुआ और मरीज परेशान हुए। जानकारी के मुताबिक अमित उपाध्याय नामक युवक ने अपने साथियों के साथ मेडिकल वार्ड में स्टाफ नर्स रेशमा से अभद्रता करते हुए धमकाया। अमित ने नर्स से कहा कि चार दिन पहले उसने जो शिकायत की है, उसे वापस ले ले या उस पर कोई कार्रवाई न करें। इस दौरान वार्ड में हंगामा हो गया और मरीजों के परिजन भी एकत्रित हो गए। अभद्रता व धमकी देने के बाद आरोपित चला गया। नर्सों के मुताबिक चार दिन पहले न्यू हाउसिंग बोर्ड कॉलोनी निवासी महिला पूनम पत्नी बिहारी ने नर्स रेशमा व अन्य नर्सों के साथ अभद्रता की थी। इस बात की शिकायत नर्सों ने सीएस व पुलिस से की थी। इसी शिकायत को वापस लेने का दबाव बनाने के लिए अमित वार्ड में आया था। इनका कहना है - नर्सों से अभद्रता करने वाले के खिलाफ कार्रवाई करने के लिए पुलिस को बुला लिया है। पुलिस कार्रवाई कर रही है। अस्पताल की सुरक्षा के लिए भी इंतजाम किए जाएंगे।

जिला अस्पताल के मेडिकल वार्ड में एक युवक ने साथियों के साथ नर्सों से अभद्रता करते हुए उन्हें जान से मारने की धमकी दी। इसी युवक की परिचित महिला ने चार दिन पहले भी नर्सों से अभद्रता की थी। इसकी …

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