राजस्थान में विधानसभा का सत्र शुरू होने में अब सिर्फ एक ही हफ्ता बचा है. इससे पहले राजनीतिक हलचल तेज हो गई है. शुक्रवार शाम को कांग्रेस आलाकमान का संदेश लेकर महासचिव केसी वेणुगोपाल, अजय माकन फिर जैसलमेर पहुंच रहे हैं. सिर्फ कांग्रेस नहीं बल्कि भाजपा की ओर भी हलचल तेज दिख रही है.
बता दें कि कांग्रेस के अशोक गहलोत कैंप के सभी विधायक अब जैसलमेर के होटल में रुके हुए हैं. अब शाम को चार बजे यहां पर फिर सभी विधायकों के साथ बैठक की जाएगी. मुख्यमंत्री अशोक गहलोत भी जयपुर से जैसलमेर पहुंचेंगे.
एक तरफ कांग्रेस के खेमे में हलचल है तो अब भाजपा भी एक्टिव हो गई है. पूर्व मुख्यमंत्री वसुंधरा राजे ने शुक्रवार को बीजेपी अध्यक्ष जेपी नड्डा से मुलाकात की. दोनों नेताओं के बीच करीब डेढ़ घंटे की चर्चा हुई, जिसमें राजस्थान के सियासी घटनाक्रम पर बात हुई. वसुंधरा राजे ने एक लंबे वक्त तक इस सियासी घमासान पर चुप्पी साधे हुई थी, जिसपर काफी अटकलें लगाई जाने लगी थीं.
राजस्थान में मची राजनीतिक हलचल के बीच विधानसभा का सत्र नजदीक आ रहा है. राज्यपाल कलराज मिश्र की ओर से 14 अगस्त की तारीख दी गई थी. ऐसे में अशोक गहलोत की ओर से कोशिश है कि तबतक विधायकों को एकजुट रखा जाए और वक्त आने पर बहुमत साबित कर दिया जाए. गहलोत कैंप 17 अगस्त तक बहुमत साबित कर सकता है.
एक तरफ गहलोत कैंप में हलचल तेज है तो दूसरी ओर सचिन पायलट गुट भी एक्टिव है. सचिन पायलट के समर्थक विधायकों ने सरकार पर जैसलमेर रिजॉर्ट में रुके विधायकों के फोन टैप होने का आरोप लगाया है. बता दें कि सचिन पायलट गुट दावा कर चुका है कि वो विधानसभा सत्र में शामिल होने जयपुर आएंगे.
कांग्रेस की ये बैठक इसलिए भी महत्वपूर्ण है क्योंकि 11 अगस्त को राजस्थान हाईकोर्ट बसपा विधायकों के विलय मामले में अपना फैसला सुनाएगा. बसपा के 6 विधायकों ने कांग्रेस में विलय किया था, जिसे खुद बसपा ने गलत करार दिया है.