सौतेली मां ने जयंत यादव की बदल दी जिंदगी, आज दुनिया इस युवा क्रिकेटर को सलाम कर रही है।
सौतेली मां सुनते ही लोग सिहर उठते हैं। मन में एक ही सवाल आता है कि उस बच्चे का क्या होगा, जिसकी वह मां होगी, लेकिन क्रिकेट के उभरते सितारे जयंत यादव को इस मुकाम तक पहुंचाने में सौतेली मां की ही भूमिका है।मुंबई टेस्ट में नौवें नंबर पर आकर इंग्लैंड के खिलाफ शतक लगाने वाले जयंत यादव आज उस मुकाम पर नहीं होते यदि उनकी सौतेली मां उन्हें आगे नहीं बढ़ाती.
स्वराज इंडिया पार्टी के संयोजक और जयंत यादव के चाचा योगेंद्र यादव ने बताया कि यह युवा खिलाड़ी उनकी मौसी का पोता है।
योगेंद्र यादव ने बताया, ‘बोलू (जयंत यादव का घर का नाम) को घर में सभी प्यार करते हैं. ये लड़का स्वभाव से इतना प्यारा है कि परिवार और पड़ोस में लोग इसकी मिसाल देते हैं.’
योगेंद्र यादव ने बताया कि जयंत 4-5 साल का ही होगा जब उसकी मां लक्ष्मी की प्लेन हादसे में मौत हो गई. इसके बाद उसके पिता ने ज्योति से शादी की.
जयंत की मां तैराक तो पिता क्रिकेटर
योगेंद्र यादव ने कहा कि जयंत की दूसरी मां ज्योति खुद खिलाड़ी रही हैं, तैराकी में उन्होंने काफी नाम कमाया है. जयंत के पिता भी क्रिकेटर रहे हैं. इनका पूरा परिवार ही खेल से जुड़ा है।
बहन का भी तैराकी में नाम
जयंत की छोटी बहन रिया तैराक है. उन्होंने कहा कि ज्योति ने जयंत को आगे बढ़ाने में अहम रोल अदा किया है. कदम कदम पर उसे आगे बढ़ने के लिए प्रोत्साहित किया है।
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