प्रधानमंत्री कार्यालय ने इस बात से साफ इंकार किया है कि नरेंद्र मोदी ऐप से लोगों की डेटा सुरक्षा को लेकर किसी तरह का खतरा है. फ्रांस के एक हैकर ने ट्वीट किया था कि इस ऐप से लोगों की गोपनीय जानकारी बिना उनकी मर्जी के ‘तीसरे पक्ष’ को पहुंच रही है. लेकिन सच तो यह है कि करीब 14 महीने पहले ही एक 22 साल के भारतीय युवक ने इस ऐप को हैक करने का दावा किया था.
इस युवक का नाम जावेद खत्री है. योरस्टोरी को भेजे एक ई-मेल में युवक ने कहा था कि वह ‘बड़ी सुरक्षा सेंध की जानकारी देना चाहता है.’ उसने नरेंद्र मोदी ऐप के हैक करने के साथ ही मंत्री स्मृति ईरानी के कॉन्टैक्ट से जुड़ी जानकारी निकालने का दावा किया था.
इसके जवाब में बीजेपी के राष्ट्रीय आईटी संयोजक अमित मालवीय ने कहा था कि नरेंद्र मोदी ऐप के द्वारा साझा की जाने वाली ज्यादातर जानकारियां वैसे ही सार्वजनिक हैं और इस सॉफ्टवेयर के द्वारा किसी भी तरह से निजी या संवदेनशील डेटा नहीं लिया जाता.’
उन्होंने कहा था, ‘ ऐप यूजर की जानकारी एनक्रिप्टेड मोड में होती है.’ मालवीय ने खत्री को इस बात के लिए धन्यवाद दिया कि उसने यह स्वीकार किया है कि डेवलपर ने सुरक्षा का काफी ध्यान रखा है. उन्होंने कहा कि इसके बाद ऐप में सुरक्षा संबंधी फीचर और बढ़ा दिए गए हैं.
गौरतलब है कि कांग्रेस अध्यक्ष राहुल गांधी ने फ्रांस के एक हैकर के ट्वीट पर आधारित खबर शेयर की थी. एलियट एल्डरसन नाम के इस हैकर ने अपने ट्वीट में दावा किया है कि नरेंद्र मोदी ऐप डाउनलोड करने वाले लोगों की व्यक्तिगत जानकारी किसी तीसरी पार्टी के साथ साझा की गई है.
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