लखनऊ. इलाहाबाद हाई कोर्ट की तरफ से आयोजित की गई ग्रुप-डी भर्ती परीक्षा का पेपर रविवार को लीक हो गया। गोरखपुर के एक सेंटर में परीक्षा करा रहे कॉलेज मैनेजर ने ही पेपर की फोटो खींचकर वॉट्सऐप से गैंग सरगना को भेज दी। एसटीएफ ने गैंग लीडर, छह सॉल्वरों और चार अभ्यर्थियों समेत 13 लोगों को अरेस्ट किया है। ASP एसटीएफ अरविंद चतुर्वेदी ने बतााया, “हाईकोर्ट ग्रुप-डी भर्ती परीक्षा का पेपर लीक करने वाले गैंग की सूचना 10 नवंबर को मिली थी।

ऐसे कराते थे पेपर लीक
-एसटीएफ सूत्रों के अनुसार, पेपर लीक में गोरखपुर में दो केंद्रों के मैनेजर, कुछ दलाल और कैंडिडेट्स शामिल हैं। इसकी जानकारी मिलने पर परीक्षा करवा रही चेन्नै की एजेंसी सतव्रत से संपर्क कर संदिग्धों की सूची निकलवाई गई। इसी दौरान एसटीएफ ने गैंग लीडर सिराजुद्दीन को गोरखपुर में पकड़ लिया। पूछताछ में उसने बताया, “शाहपुर में गंगानगर के बापू इण्टर कॉलेज में राम प्रवेश की जगह अमित कुमार नाम का सॉल्वर परीक्षा दे रहा है। अमित को रंगे हाथ पकड़ लिया गया।”
-सिराजुद्दीन से ही यह भी पता चला कि बी.एम. मेमोरियल पब्लिक कॉलेज-बैलो के प्रबंधक संजय सिंह ने उसके मोबाइल पर ग्रुप-डी परीक्षा का पेपर वॉट्सऐप से उसे भेजा था। उसकी निशानदेही पर मैनेजर संजय सिंह और कक्ष निरीक्षक अभिषेक सिंह को पकड़ा गया।
STF ने 13 लोगों को किया अरेस्ट
– संजय सिंह ( कॉलेज मैनेजर), अभिषेक सिंह ( कक्ष निरीक्षक), राहुल कुमार, अमित कुमार, गोविंद कुमार, चंदन, मुबारक अली, रामप्रवेश, सिराजुद्दीन (गैंग का लीडर), संदीप कुमार, रजीउल्लाह, मन्नु और श्याम सिंह।
ऐसे लगाते थे परीक्षा में सेंध
2. कैंडिडेट्स की जगह सॉल्वर बैठाए।
3.एग्जाम सेंटर व्हाट्स एप्प के जरिए पेपर लीक। सॉल्वर पेपर को सॉल्व कर ब्लू ट्रूथ से अंदर भेज दे।
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