बड़ी खबर: नये साल में और बढ़ेगी ताकत, इस साल सबसे मजबूत दस्तावेज बना आधार कार्ड...

बड़ी खबर: नये साल में और बढ़ेगी ताकत, इस साल सबसे मजबूत दस्तावेज बना आधार कार्ड…

साल 2017 में आधार कार्ड एक ऐसा दस्तावेज बना है, जिसको लेकर न सिर्फ सबसे ज्यादा चर्चा हुई, बल्क‍ि इसे 100 से भी ज्यादा सरकारी योजनाओं से लिंक करना भी जरूरी है. इस साल के खत्म होते-होते भी आधार एक अहम मुद्दा बना हुआ है. 2017 में आधार कार्ड  जहां सबसे मजबूत दस्तावेज बनकर उभरा है. वहीं, नये साल में इसकी ताकत और  बढ़ना तय है.बड़ी खबर: नये साल में और बढ़ेगी ताकत, इस साल सबसे मजबूत दस्तावेज बना आधार कार्ड...

अनिवार्य हुआ आधार

साल 2017 में आधार कार्ड को कई सरकारी योजनाओं के लिए अनिवार्य कर दिया गया है. म्युचुअल फंड से लेकर आपकी बीमा पॉलिसी तक कई चीजों को आपको इससे जोड़ना अनिवार्य है. ऐसा नहीं करने से आपको मिल रही ये सुविधाएं बंद हो सकती हैं. इस साल म्युचुअल फंड, बीमा पॉलिसी, पैन कार्ड और आपके निवेश पोर्टफोलियो को भी आधार से लिंक करना अनिवार्य हुआ.

आधार ने आसान की राह

आधार कार्ड को  सरकार ने जहां एक तरफ सैकड़ों योजनाओं के लिए जरूरी किया. वहीं, इस दस्तावेज ने आम आदमी की राह आसान करने का काम भी किया. जैसे कि आधार को प्रोविडेंट फंड से लिंक करने पर सब्सक्रइबर को एक खास फायदा दिया जा रहा है. अगर आपका पीएफ खाता आधार से लिंक हो तो आप आसानी से ऑनलाइन अपना पीएफ विद्ड्रॉ कर सकते हैं.

महीने में 12 रेल टिकट करें बुक

पीएफ के अलावा आईआरसीटीसी अकाउंट को आधार से लिंक करने का विकल्प भी 2017 में लाया गया. आईआरसीटीसी  अकाउंट से भले ही आधार को लिंक करना अनिवार्य नहीं किया गया है, लेक‍िन ऐसा करने से आपको फायदा जरूर दिया जा रहा है. अक्टूबर महीने में ही भारतीय रेलवे ने कहा कि जो भी व्यक्ति अपने आधार को आईआरसीटीसी से लिंक करता है, तो वह महीने में 12 टिकट बुक कर सकता है. जबकि जिनका आधार लिंक नहीं है, वे सिर्फ 6 टिकट ही एक महीने में बुक कर पाएंगे. 

गली-गली से लेकर सुप्रीम कोर्ट तक आधार पर चर्चा

जिस रफ्तार से 2017 का साल बढ़ा, उसी तेजी से आधार की अहम‍ियत भी बढ़ती गई. एक तरफ जहां इसे कई सरकारी योजनाओं के लिए अनिवार्य किया गया. वहीं, इसे अनिवार्य करने के ख‍िलाफ भी कई याचिकाएं सुप्रीम कोर्ट में दर्ज की गईं. इन पर सुनवाई करते हुए ही सर्वोच्च न्यायालय ने बैंक खाता और मोबाइल नंबर समेत अन्य योजनाओं को आधार से लिंक करने के लिए मार्च तक समय दिया.

बना अहम मुद्दा

सुप्रीम कोर्ट के अलावा आम आदमी के बीच भी आधार कार्ड बहस का एक अहम मुद्दा बना रहा. कल तक वोटर आईडी और ड्राइविंग लाइसेंस को पहचान पत्र के तौर पर देने वाले लोग अब सिर्फ आधार कार्ड को पहचान पत्र के तौर पर इस्तेमाल करने लगे. यही नहीं, कई जगहों पर आम लोगों से पहचान पत्र मांगते समय आधार को ही प्राथमिकता दी जा रही है.

नये साल में बढ़ेगी ताकत

आधार कार्ड को सैकड़ों सरकारी योजनाओं से लिंक करने की जो बयार 2017 में शुरू हुई है, इसके 2018 में भी जारी रहने का अनुमान है. अभी जहां आपको मोबाइल नंबर, बैंक अकाउंट और बीमा पॉलिसी को आधार कार्ड से लिंक करना जरूरी है. नये साल में आपको अपना ड्राइविंग लाइसेंस, रियल इस्टेट समेत अन्य कई योजनाओं को आधार से लिंक करना पड़ सकता है. केंद्र सरकार इसको लेकर कई बार संकेत दे चुकी है.

अनिवार्यता होगी तय

नये साल में आधार को सरकारी योजनाओं के लिए अनिवार्य करने के केंद्र के फैसले को लेकर भी तस्वीर साफ होगी. सुप्रीम कोर्ट जनवरी में उन सभी याचिकाओं पर सुनवाई करेगा, जिनमें आधार की अनिवार्यता को चुनौती दी गई है. तो तैयार रहिये नये साल में आधार को नई योजनाओं से लिंक करने के लिए.

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