आंवले को डाइट में शामिल करने के पीछे आपको कई वजह मिल जाएंगी। सर्दियों में आने वाला यह सुपरफूड विटामिन-सी और एंटी-ऑक्सीडेंट्स से भरपूर होता है। सर्दी में आने वाले आंवले में संतरे से 20 गुना ज़्यादा विटामिन-सी होता है, जो इसे हेल्दी और पोषण से भरपूर फल बनाता है। साथ ही इसे डाइट में शामिल करने से इम्यूनिटी भी मज़बूत होती है। भारत में इसे कई तरह से खाने में शामिल किया जाता है। आंवले का जूस, चटनी, अचार और मुरब्बा काफी पसंद किया जाता है। हालांकि, कुछ लोग ऐसे भी है जिन्हें ये हेल्दी फल नुकसान पहुंचा सकता है।
किसे नहीं खाना चाहिए आंवला
अगर आप प्रेग्नेंट या स्तनपान करा रही हैं
इसमें कोई शक़ नहीं कि आंवला कई गुणों से भरपूर होता है, लेकिन साथ ही अगर इसका सेवन ज़रूरत से ज़्यादा कर लिया जाए, तो यह पेट दर्द, दस्त और पानी कमी पैदा कर सकता है। ऐसा माना जाता है कि यह समस्याएं एक गर्भवती या स्तनपान करा रही महिला के लिए और भी गंभीर हो सकती हैं। हालांकि, इस बात के सपोर्ट में कोई शाध नहीं है, लेकिन बेहतर है इस दौरान आंवला खाने से बचें।
अगर आप ड्राई स्कैल्प और स्किन से जूझ रहे हैं
अगर आपको ड्राई स्कैल्प और त्वचा की समस्या है, तो आंवला ज़्यादा खाने से यह दिक्कत और बढ़ सकती है। इसकी वजह से बालों का झड़ना, खुजली, डैंड्रफ और बालों से जुड़ी अन्य समस्याएं पैदा हो सकती हैं। फल में मौजूद कुछ यौगिक शरीर में पानी की कमी का कारण बन सकते हैं। इसलिए आंवला खाने के बाद खूब सारा पानी पीने की सलाह दी जाती है।
अगर आपकी सर्जरी होने वाली है
जिन लोगों की सर्जरी होने वाली है उन्हें कुछ समय के लिए आंवले का सेवन नहीं करना चाहिए। ज़रूरत से ज़्यादा आंवले के सेवन से ब्लीडिंग का ख़तरा रहता है। अगर ब्लीडिंग लगातार और लंबे समय तक होती है, तो यह ऊतक हाइपोक्सिमिया, गंभीर अम्लरक्तता या बहु-अंग शिथिलता को जन्म दे सकता है। इसलिए सर्जरी से कम से कम 2 सप्ताह पहले आंवला न खाने की सलाह दी जाती है।
अगर आपके ब्लड शुगर लेवल कम हैं
कुछ अध्ययनों से यह भी पता चलता है कि आंवला रक्त शर्करा के स्तर को कम करने में मदद कर सकता है। हालांकि टाइप-1 और टाइप-2 डायबिटीज़ से पीड़ित लोगों के लिए आंवला फायदेमंद है, लेकिन जिन लोगों का ब्लड शुगर लेवल कम है या फिर वे एंटी-डायबिटीज़ दवाइयां लेते हैं, तो उन्हें आंवला नहीं खाना चाहिए।
हाइपरएसिडिटी से जूझ रहे है
आंवला विटामिन-सी से भरपूर होता है, एक ऐसा पोषक तत्व जो इस फल की एसिडिक प्राकृति में योगदान देता है। अध्ययनों से पता चलता है कि इस फल को खाने से सीने में जलन के बार-बार होने और गंभीरता कम हो सकती है, लेकिन हाइपरएसिडिटी से जूझने वालों के लिए यह लक्षण और भी ख़राब हो सकते हैं।
अगर आप रक्त संबंधी रोग से पीड़ित हैं
आंवले में एंटी-प्लेटलेट्स गुण होते हैं, इसका मतलब है कि यह रक्त के थक्कों को बनने से रोक सकता है। आम लोगों के लिए इसे खाने से दिल का दौरा और स्ट्रोक का जोखिम कम होता है, लेकिन जो पहले से खून से जुड़ी बीमारियों से जुझ रहे हैं, उनके लिए आंवला खाना सही नहीं है।