
पीडीएस में मिल रहे खाद्यान की सूची बढ़ाना उद्देश्य
नीति आयोग के बड़े अधिकारियों के मुताबिक, राशन की दुकानों पर जो गेंहू, चावल, जौ, चना, दालें और चीनी मिलती है, उससे लोगों को उचित मात्रा में प्रोटिन की खुराक नहीं मिल पाती है। इसलिए गरीब लोगों को प्रोटिन की उचित खुराक मिल सके, इसके लिए यह प्रस्ताव तैयार किया गया है।इसलिए किया जाएगा जरूरी
इकोनॉमिक टाइम्स की रिपोर्ट के अनुसार, नीति आयोग के सदस्य रमेश चंद्र ने कहा कि हर 10 में से चार बच्चों में प्रोटिन की कमी है। बच्चे ज्यादातर जंक फूड का सेवन कर रहे हैं, जिसमें तेल, चीनी और मसालों की भरमार है। हालांकि अगर राशन की दुकानों पर अंडे, मीट और मछली सस्ती दरों में मिलते हैं, तो इससे कुपोषण की समस्या से निपटा जा सकता है। हालांकि इससे खाद्यान पर मिल रही सब्सिडी का भार बढ़ सकता है। अभी सरकार को सस्ती दरों पर खाद्यान बेचने पर 1.84 लाख करोड़ रुपये का अतिरिक्त भार पड़ रहा है।
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