कासगंज। गणतंत्र दिवस पर तिरंगा यात्रा के बाद हुए बवाल, फायरिंग और युवक की हत्या से सांप्रदायिकता की आग में झुलसने के बाद शहर में जनजीवन सामान्य होने लगा है। सोमवार को आला अधिकारियों ने पैदल भ्रमण किया। आदेश के बावजूद स्कूल-कॉलेज बंद रहे। वहीं भारी विरोध के बीच डीएम ने 20 लाख का चेक मृतक चंदन के परिजनों को सौंपा। दूसरी ओर नए एसपी पीयूष श्रीवास्तव ने शाम को कार्यभार ग्रहण कर लिया। दिनभर शांत रहे शहर में रात को फिजा बिगाडऩे के लिए किसी शरारती तत्व ने एक खोखे में आग लगा दी, हालांकि आग को तुरंत बुझा दिया गया।
रविवार देर रात तक पुलिस-प्रशासन ने शहर को अमन की राह पर लाने की रणनीति बनाई। सोमवार सुबह साप्ताहिक बंदी के चलते चार मुख्य बाजार नदरई गेट, बिलराम गेट, सहावर गेट और सोरों गेट की अधिकांश दुकानें बंद रहीं। कुछ दुकानें खुलीं, जहां लोगअपनी जरूरत का सामान खरीदने को उमड़ पड़े। दोपहर बाद सभी दुकानें बंद हो गईं, जबकि शहर के बाहरी इलाकों में दुकानें पूरे दिन खुली रहीं। बसों का संचालन सुचारू हो गया।
इधर कोतवाली में बैठक के बाद आयुक्त सुभाष शर्मा, एडीजी अजय आनंद और आरएएफ के अधिकारी पुलिस- पीएसी के साथ शहरों की सड़कों पर उतरे। बाराद्वारी से चला अफसरों का दल सोरों गेट होता हुआ कई मुस्लिम बस्तियों में पहुंचा, जहां अफसरों ने लोगों से हालात की जानकारी ली। इसके बाद अधिकारी बिलराम चौराहा होकर कोतवाली पहुंच। आयुक्त सुभाष शर्मा ने बताया कि सोमवार को पूरी तरह शांति रही। उन्होंने कहा कि प्रशासन हर गतिविधि पर नजर रखे है।
वहीं चंदन के परिजनों को सोमवार को डीएम आरपी सिंह ने शासन की ओर से 20 लाख का चेक दिया। इस दौरान अमापुर विधायक देवेंद्र सिंह, डीएम और एसपी का परिजनों के अलावा मौजूद लोगों ने जमकर विरोध किया। डीएम आरपी सिंह ने कहा कि हालात सामान्य हो रहे हैं, सोमवार रात इंटरनेट सेवा बहाल कर दी गई। एडीजी अजय आनंद ने बताया कि बवाल के दौरान दर्ज कराए गए पांच मुकदमों की जांच का जिम्मा एसआइटी को सौंपा गया है। नामजद आरोपी वसीम की गिरफ्तारी की जिम्मेदारी एसटीएफ को दी जा रही है।
पांच मुकदमे, 38 नामजद और दर्जनों अज्ञात
बवाल और युवक की हत्या के बाद आगजनी आदि को लेकर कोतवाली में कुल पांच मुकदमे दर्ज किए गए हैं। इनमें 38 को नामजद करते हुए दर्जनों अज्ञात को आरोपी बनाया गया है।
राहुल उपाध्याय को किया पेश
कासगंज बवाल में चंदन गुप्ता के साथ सोशल मीडिया पर राहुल उपाध्याय की अलीगढ़ के अस्पताल में मृत्यु होने का मैसेज वायरल हो रहा था। राहुल उपाध्याय को सोमवार को पुलिस-प्रशासन ने मीडिया के सामने पेश किया। राहुल ने कहा कि वह सकुशल है, उसे कुछ नहीं हुआ था।