नई दिल्ली। भारतीय सेना के अधिकारियों के खिलाफ सैनिकों का विरोध थमने का नाम नहीं ले रहा है। अब एक और जवान ने वीडियो मैसेज के जरिए सेना में “सहायक” के तौर पर काम करने की प्रथा पर सवाल खड़े किए हैं, जिसके बाद वीडिया वायरल हो गया है।
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न्यूज18 इंडिया के मुताबिक जवान ने कहा कि उसे छुट्टी के बाद देरी से आने पर सजा के रूप में सहायक के तौर पर काम कराया गया। जवान का नाम सिंधव जोगीदास है, जिसने वीडियो में आरोप लगाया कि वह छुट्टी से दो दिन लेट आया, जिसकी सजा के रूप में जबरदस्ती सहायक ड्यूटी पर लगा दिया गया। मैं पहले से ही 2014 में इस सहायक ड्यूटी को कर चुका था इसलिए मैने मना कर दिया। तब तो मुझे कुछ नहीं कहा गया लेकिन बाद में मेरा शोषण किया गया। मुझे आर्मी कस्टडी में भी रखा गया।
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वीडियो में जवान ने कहा, “हर जवान यही चाहता है कि मेरे देश की सेना की इज्जत सबसे ऊपर हो। लेकिन ये कब तक सहते रहेंगे। अब बात सिर्फ सहायक तक सीमित नहीं रही, बहुत कुछ गलत हो रहा है। जवानों को सिर्फ दिखावे के लिए सुविधाएं दी जाती हैं। खाने भी दिया जाता है तो जीवित रहने के लिए। सबसे सस्ती सब्जी, सबसे सस्ते फल और सबसे घटिया खाना दिया जाता है। लेकिन अभी इन बातों का मेरे पास कोई सबूत नहीं है इसलिए इस बारे में ज्यादा कुछ नहीं कहूंगा।”
सेना के अफसरों पर आरोप लगाते हुए वीडियो में कहा, ” सेना के कुछ ऑफिसरों ने जवानों को अपना गुलाम समझ के रखा है और जवानों को सबकुछ मजबूरी में करना पड़ता है। जो मुह खोलता है वो मारा जाता है, क्योंकि सेना का संविधान बहुत ही जटिल है। मैं नहीं चाहता था कि सेना की बात सोशल मीडिया में आए इसलिए दो बार छुट्टी लेकर प्रधानमंत्री ऑफिस और रक्षा मंत्री ऑफिस गया।