अयोध्या मामले में सुप्रीम कोर्ट का फैसला आने से पहले प्रयागराज के सच्चा बाबा आश्रम से फरार हुआ संदिग्ध कनाडाई युवक बेंगलुरू में गिरफ्तार कर लिया गया है। खुफिया एजेंसियों की पूछताछ के बाद वह फरार हो गया था। बेंगलुरु से वह विदेश भागने की फिराक में था लेकिन वह अपने मंसूबे में कामयाब नहीं हो सका। अब उसे दिल्ली लाकर पूछताछ की जा रही है।
मुस्लिम पर नाम हिंदू रखकर विभिन्न शहरों में रहता था
कनाडा निवासी अहमद खातिब खुद को मोहन बताकर वर्ष 2015 से भारत के विभिन्न शहरों में रहा था। दीपावली से एक दिन पहले वह प्रयागराज में अरैल स्थित सच्चा बाबा आश्रम पहुंचा। वहां संतों को उसकी गतिविधियां संदिग्ध लगीं तो सूचना पुलिस को दी गई। जानकारी मिलते ही खुफिया एजेंसियां एलर्ट हो गईं। एजेंसियों के अधिकारियों ने उससे दीपावली के दिन आश्रम में ही घंटों पूछताछ की। इसमें पता चला कि अहमद खातिब उर्फ मोहन पूर्व में अयोध्या, गया, पटना, दिल्ली, अहमदाबाद, भोपाल, उज्जैन, बेंगलुरु, चेन्नई, रानीखेत जैसे शहरों में रह चुका है।
खातिब पाकिस्तान भी गया था, बांग्लादेशी युवक से लगातार चैटिंग करता था
अहमद खातिब उर्फ मोहन ने करीब 10 से 12 ऐसे देशों के नाम भी बताए जहां वह गया था। पाकिस्तान भी इन देशों में शामिल है। पूछताछ में यह बात भी सामने आई थी कि खातिब बांग्लादेश के किसी युवक से लगातार चैटिंग कर रहा था। उसे बता रहा था कि यदि अयोध्या आना है तो ङ्क्षहदू नाम रखकर और भगवा वस्त्र पहनकर आना होगा। उसके पिता ईरान के मूल निवासी हैं लेकिन उन्हें कनाडाई नागरिकता मिली है और वह कनाडा में टैक्सी चलाते हैं। बकौल खातिब वह ठेला चलाता था, इससे होने वाली आय उसे भारत में रहने लायक बनाती थी, यह बात उसे शक के घेरे में लाई थी।
किसी आतंकी संगठन से लिंक न मिलने पर उसे गिरफ्तार नहीं किया गया
प्रयागराज में घंटों पूछताछ के बाद जब किसी आतंकी संगठन से खातिब का कोई लिंक नहीं मिला तो उसे गिरफ्तार नहीं किया गया। हालांकि उस पर नजर जरूर रखी गई। दीपावली के अगले दिन वह अचानक आश्रम से फरार हो गया। इसके बाद खुफिया टीमें उसके पीछे लग गईं। आइबी सूत्रों का कहना है कि पांच नवंबर को उसे बेंगलुरु से पकड़ लिया गया है, और अब दिल्ली लाकर पूछताछ की जा रही है।