पांच राज्यों में विधानसभा चुनाव की तारीखों के ऐलान के साथ ही चुनावी काउंटडाउन शुरू हो चुका है।
सभी पार्टियां चुनावों को लेकर अपना गणित सही करने पर लगी हैं। इस दौरान उत्तर प्रदेश की पूर्व मुख्यमंत्री और बसपा सुप्रीमो मायावती, शिवसेना प्रमुख उद्धव ठाकरे और एनसीपी नेता शरद पवार ने मोदी सरकार के फरवरी में पेश होने वाले आम बजट पर निशाना साधा है। तीनों नेताओं ने इस मामले में चुनाव आयोग से गुहार लगाई है कि इससे बीजेपी को राजनीतिक फायदा हो सकता है, इसलिए ये बजट चुनावों के बाद पेश किया जाए। देश की सभी पार्टियां एकजुट होकर इस के खिलाफ बड़ा फैसला भी ले सकती हैं।
कल चुनाव आयोग की प्रेस कॉन्फ्रेंस के बाद बसपा की मुखिया मायावती ने बयान जारी कर यूपी सहित 5 राज्यों में चुनाव कार्यक्रम घोषित किए जाने का स्वागत किया है। इस दौरान मायावती ने कहा कि पांचों राज्यों में स्वतन्त्र, निष्पक्ष और शान्तिपूर्ण चुनाव के लिये जरूरी है कि केंद्र सरकार का आम बजट चुनावों की बाद ही पेश हो। इस दौरान मायावती ने कहा कि बीएसपी यूपी, पंजाब और उत्तराखंड में अपने दम पर अकेले चुनाव लड़ेगी बसपा सुप्रीमो मायावती ने फरवरी में आम बजट पेश करने की मोदी सरकार की पहल का विरोध किया है। मायावती ने आरोप लगाया कि बीजेपी शासित केंद्र सरकार की ये सोची समझी राजनीतिक साजिश हैं, उन्होंने कहा कि बीजेपी और केंद्र सरकार ने फरवरी में बजट का कार्यक्रम इसलिए ही रखा है, जिससे वो लोक लुभावन चुनावी वादे कर सकें और इसका बीजेपी को 5 राज्यों के विधानसभा चुनावों में फायदा हो।