भोपाल में दो  दिवसीय कलेक्टर-कमिश्नर कॉन्फ्रेंस आज

मुख्यमंत्री डॉ. मोहन यादव की अध्यक्षता में 7 और 8 अक्टूबर को कुशाभाऊ ठाकरे इंटरनेशनल कन्वेंशन सेंटर, भोपाल में दो दिवसीय कलेक्टर-कमिश्नर कॉन्फ्रेंस का आयोजन होगा। इस अवसर पर राज्य सरकार की प्राथमिकताओं और क्षेत्रीय योजनाओं की समीक्षा की जाएगी। कॉन्फ्रेंस में प्रत्येक विषय संयोजक को प्रस्तुति देने के लिए अधिकतम 20 मिनट का समय मिलेगा। कार्यक्रम में राज्य सरकार के विजन के अनुरूप केंद्र और राज्य सरकार की प्रमुख योजनाओं पर चर्चा के साथ-साथ पांच सर्वश्रेष्ठ और पांच कमजोर जिलों की समीक्षा भी की जाएगी।

मुख्य सचिव, सीएम कार्यालय और योजना विभाग चयनित कार्यक्रमों की समीक्षा करेंगे। जिले, ब्लॉक और पंचायत स्तर पर स्थानीय संसाधनों के बेहतर उपयोग, नवाचार और जन संवाद (बीसी के माध्यम से) के जरिए अपेक्षित परिणाम प्राप्ति पर विचार-विमर्श किया जाएगा। रोजगार सृजन, सरकारी कल्याणकारी योजनाओं की पहुंच और जागरूकता कार्यक्रमों पर भी चर्चा होगी। सभी आठ सेक्टरों के लिए सत्रों का समय 75 मिनट रखा गया है। कॉन्फ्रेंस का उद्घाटन सत्र 7 अक्टूबर को सुबह 10 बजे होगा। इसमें सामान्य प्रशासन विभाग का परिचय सत्र, मुख्यमंत्री डॉ. मोहन यादव और मुख्य सचिव अनुराग जैन के संबोधन शामिल होंगे। सत्रों में विभिन्न विभागों के संयोजक और सदस्य शामिल होंगे। पहला सत्र कृषि, बागवानी, पशुपालन और सहकारी क्षेत्र पर चर्चा करेगा। दूसरा सत्र स्वास्थ्य और पोषण पर केंद्रित होगा। तीसरे सत्र में रोजगार, उद्योग और निवेश पर विचार-विमर्श होगा। चौथा सत्र शहरी विकास पर और पांचवां सत्र सुशासन के विभिन्न पहलुओं पर आयोजित किया जाएगा। इस कॉन्फ्रेंस के माध्यम से जिला प्रशासन को अपने नवाचार और अनुभव साझा करने का अवसर मिलेगा और विभिन्न क्षेत्रों में सुधार और नीति क्रियान्वयन की दिशा में महत्वपूर्ण कदम उठाए जाएंगे।

सीएम का पहली बार कलेक्टरों से आमने-सामने संवाद

मुख्यमंत्री डॉ. मोहन यादव पहली बार मैदानी अधिकारियों के साथ आमने-सामने संवाद करेंगे। इससे पहले वे वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग के माध्यम से अधिकारियों से बात कर चुके हैं, लेकिन अब दो दिनों में आठ सत्र आयोजित किए जाएंगे, जिसमें कलेक्टरों और कमिश्नरों को सीधे अपनी समस्याएं और सुझाव साझा करने का अवसर मिलेगा।

कलेक्टरों को सीधा फीडबैक देना का मिलेगा अवसर

कॉन्फ्रेंस में इस बार कलेक्टरों को सीधा फीडबैक देने का अवसर मिलेगा। हर सत्र में 6-8 कलेक्टर अपने क्षेत्र के अनुभव, चुनौतियां और विभागीय समस्याएं साझा करेंगे। इसके साथ ही मुख्यमंत्री ने निर्णय लिया है कि साप्ताहिक नो मीटिंग डे रखा जाएगा, ताकि अधिकारी क्षेत्र में जाकर जनप्रतिनिधियों और जनता से सीधे मिल सकें। अक्टूबर में आयोजित कॉन्फ्रेंस के बाद दिसंबर में एक फिजिकल मीटिंग भी होगी, जिसमें अधिकारियों के कामकाज और प्रदर्शन का मूल्यांकन किया जाएगा।

कॉन्फ्रेंस के दौरान इन विषयों पर होगी चर्चा

कानून व्यवस्था, कृषि एवं ग्रामीण विकास, नगरीय विकास और आवास, गुड गवर्नेंस, रोजगार और उद्योग, स्वास्थ्य एवं शिक्षा

Powered by themekiller.com anime4online.com animextoon.com apk4phone.com tengag.com moviekillers.com