एक यात्री ने फेसबुक पोस्ट के जरिए भारतीय रेलवे की पैंट्री कारों में घोटाले का खुलासा किया है। प्रतप्त दास नाम के एक शख्स ने रिटायर्ड आईएएस अधिकारी शिवेंद्र कुमार सिन्हा के हवाले से विशाखापट्टनम से हावड़ा तक के सफर के दौरान सामने आए फर्जीवाड़े का जिक्र किया है। उनकी पोस्ट में लिखा है कि पैंट्री कार के लोगों ने 50 रुपये के खाने के 90 रुपये वसूले। वहीं नॉन वेज खाने के 55 रुपये के बजाय 100 रुपये बताए गए।
उन्होंने लिखा, ”पिछले सप्ताह मैंने यशवंतपुर-हावड़ा एक्सप्रेस से विशाखापट्टनम से हावड़ा तक का सफर किया। पैंट्री कार से वेज खाने का ऑर्डर दिया और वेटर के अनुसार इसकी कीमत 90 रुपये थी। मुझे हमेशा लगता था कि ये लोग खाने के ज्यादा पैसे चार्ज करते थे लेकिन कभी इसे गंभीरता से नहीं लिया। लेकिन इस बार मैंने पता करने का फैसला किया। रेट कार्ड और मीनू के लिए गूगल पर जब रेटकार्ड देखा तो उनके होश उड़ गए। इसके बाद उन्होंने वेटर को 50 रुपये ही दिए तो उसने लेने से मना कर दिया और 90 रुपये मांगे। इस पर शिवेंद्र कुमार ने रेट कार्ड दिखाया तो वेटर ने 50 रुपये ले लिए और किसी से इस बारे में बताने से मना किया।
सुबह टहलने निकले बुजुर्ग की चेन और अंगूठी छीनी
शिवेंद्र कुमार ने अपनी पोस्ट में आगे लिखा, ”मैं काफी गुस्से में था और पहले से लेकर 13वें कोच तक गया। रास्ते में सबको बताया कि रेट को लेकर गड़बड़ी कर रहे हैं। पैंट्री कार में इंचार्ज से मुलाकात की और इस बारे में पूछा। उसने भी वही कहानी सुनाई और कहा कि रेट कार्ड अभी है नहीं लेकिन जल्द ही मिल जाएगा। उसके कंप्लेंट रजिस्टर में शिकायत दर्ज की। कंप्लेंट रजिस्टर भी उसने काफी ना-नुकुर के बाद दिया। फिर उसने कहा कि इसे कोई नहीं देखेगा, यह सब कचरे में जाएगा। जबकि इससे पहले शिकायत ना लिखने को कह रहा था।”