राष्ट्रीय स्वंयसेवक संघ के मुखिया मोहन भागवत ने मंगलवार (12 सितंबर) को राजनयिकों के एक दल से मुलाकात की। कार्यक्रम में मोहन भागवत ने कहा कि राम मंदिर-बाबरी मस्जिद मामले पर सुप्रीम कोर्ट जो भी फैसला देगा वह उनके संगठन और उनको मान्य होगा। मोहन भागवत ने आगे प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी से अपने अच्छे रिश्तों की बात की। मोहन भागवत ने यह बात इंडिया फाउंडेशन द्वारा करवाए गए एक कार्यक्रम में कही। वहां लगभग पचास देशों के राजनयिक आए हुए थे। (पाकिस्तान को छोड़कर) यह ऐसा सातवां कार्यक्रम था। कार्यक्रम में बीजेपी के महासचिव राम माधव और सरकार के राज्य मंत्री जयंत सिन्हा भी शामिल थे।
ये भी पढ़े: आप समझ नहीं पाएंगे कौन है दोषी, इस वजह से बेटी ने पिता के साथ संबंध बनाए
इंडियन एक्सप्रेस को मिली जानकारी के मुताबिक, भागवत ने लगभग 20 मिनट राजनयिकों से बात की। इस बीच उन्होंने कई सवालों के जवाब दिए। भागवत से यह भी पूछा गया था कि सरकार में संघ का कितना रोल रहता है? इसपर मोहन भागवत ने कहा संघ बीजेपी को नहीं चलाती और ना ही बीजेपी संघ को चलाती। भागवत ने कहा कि स्वंयसेवक और पार्टी के लोग आपस में विचार विमर्श करते जरूर हैं लेकिन फैसलों को प्रभावित नहीं करते।
ये भी पढ़े: बड़ी खबर: क्रीम विवाद पर बोली ये देसी गर्ल, कहा- प्रचार करना मेरी जिंदगी की सबसे बड़ी भूल
भागवत ने हिंदुत्व पर भी बात की। उन्होंने कहा कि वक्त के साथ सब बदल रहा है। भागवत बोले जब कोई कहता है कि वह हिंदू है तो इसका मतलब उसके धर्म या फिर रहने के तरीके से नहीं है। इसका मतलब है कि सामने वाला जैसा है हम उसको वैसे ही स्वीकार करते हैं। हिंदू का मतलब यह पहनना और यह खाना नहीं है। किसी चीज को थोपना भी नहीं।