यह गुफा 5 किलोमीटर लंबी है। इस गुफा के भीतर अपना एक जंगल है, जिसमें बंदर, पक्षी और चमगादड़ पाए जाते हैं। इस गुफा में कई हरी नदियां बहती हैं। यहां दुनिया के सबसे ऊंचे चूना पत्थर के नेचुरल खंभे बने हैं। गुफा के भीतर लाखों-करोड़ों साल पुराने फॉसिल्स मिलते हैं। यही नहीं, इस गुफा का अपना वातावरण है, जहां बादल भी उड़ते हैं। यह है दुनिया की सबसे बड़ी गुफा- हैंग सोन डूंग। वियतनाम में स्थित इस गुफा की खोज एक किसान ने की थी। उसकी कहानी बड़ी दिलचस्प है…
एक बार भूल जाने के बरसाें बाद फिर खोजा रास्ता
-हैंग सोन डूंग गुफा वियतनाम के फोन न्हा-के बाग नेशनल पार्क में स्थित है। 1990 तक इसके बारे में किसी को अंदाजा भी नहीं था कि पार्क में इतनी विशाल, भव्य और रहस्यों को समेटे एक अनूठा संसार भी छुपा है।
-हो खान्ह नामक एक स्थानीय किसान बचपन से ही जंगल में लकड़ियां काटने और अन्य चीजें जुटाने के लिए आया करता था।
-1990 के किसी दिन वह अपने काम की चीजों की तलाश कर रहा था, तभी उसने एक चूना पत्थर की चट्टान का खुला हिस्सा देखा। उत्सुकता के कारण वह आगे बढ़ा।
-उसने गुफा के मुहाने पर बादल तैरते देखे। उसे अंदर कहीं से नदी के बहने की आवाज भी आई। यही नहीं उसे गुफा के अंदर से तेज हवा बाहर आती महसूस हुई। इसके बाद वह गुफा के अंदर नहीं गया और घर लौट आया।
-हो खान्ह बाद में गुफा का रास्ता भूल गया और बात आई-गई हो गई। इसी दौरान ब्रिटिश केवर रिसर्च एसोसिएशन के दो मेम्बर- होवार्ड और डेब लिम्बर्ट गुफाओं की तलाश में फोन न्हा-के बाग नेशनल पार्क आए। वे आसपास रहने वाले लोगों से बातचीत भी करते थे। इसी क्रम में हो खान्ह ने गुफा के बारे में बताया।
-रिसचर्स ने उसे वहां ले चलने के लिए कहा। हो खान्ह अंदाजे से उस इलाके में पहुंचा, लेकिन कई प्रयासों के बाद भी वह और रिसर्चर्स उस गुफा को नहीं खोज पाए।
-बरसों बीत गए। 2008 में एक बार फिर, जंगल में खाने की चीजें जुटाने की कोशिश करते हुए उसे गुफा का मुंह दिखाई दिया। इस बार उसने समझदारी दिखाई और वहां तक पहुंचने के रास्ते को याद करके दर्ज कर लिया।
-2009 में उसके साथ होवार्ड और डेब सहित कई अन्य रिसर्चर्स ने पहली बार गुफा के भीतर प्रवेश किया। इसे बाद में हैंग सोन डूंग नाम दिया गया, जिसका मतलब होता है- पहाड़ी नदी की गुफा।
ऐसी अद्भुत है गुफा
-हो खान्ह, होवार्ड, डेव और अन्य लोगों ने गुफा में जो देखा, उसकी उन्होंने कल्पना भी नहीं की थी। उस गुफा में अपना एक अलग ही संसार था।
-इस गुफा का आयतन (वॉल्यूम) 3.85 करोड़ घनमीटर है। इसकी लंबाई 5 किलोमीटर के करीब है। यह 200 मीटर तक ऊंची और 150 मीटर तक चौड़ी है।
-इस गुफा की अपना पारिस्थितिक तंत्र है। यहां नदियां हैं, चट्टानें हैं, कुछ जीव-जंतु और पक्षी भी रहते हैं। सोचिए, यह सब किसी एक गुफा के भीतर ही है।
-यह गुफा राओ थुआंग रिवर द्वारा चूनापत्थर के पहाड़ को लाखों साल में काटने के चलते बनी है। यहां तक पहुंचने के लिए 262 फुट नीचे रस्सी के सहारे उतरना पड़ता है।
-यहां लाखों-करोड़ों साल पुराने फॉसिल्स और दुनिया में दुर्लभ पत्थर भी मिलते हैं।