उच्च शिक्षित दो युवतियों ने सांसारिक जीवन को त्याग कर वैराग्य धारण कर लिया है। दोनों अब दीक्षा के बाद जैन साध्वी बन गई हैं। छत्तीसगढ़ के धमतरी जिले में आयोजित दीक्षा समारोह में शहर के व्यवसायी देवीचंद लुनिया की उच्च शिक्षित बेटी अंकिता लुनिया (26) व उज्जैन की अंकिता जैन (35) ने शनिवार को दीक्षा ली। दोनों अब क्रमश: साध्वी आत्मरुचि मसा और संयमरुचि मसा कहलाएंगी। पांच दिनों तक चले दीक्षा कार्यक्रम के अंतिम दिन शनिवार सुबह 8.15 बजे प्रवज्जा विधि प्रारंभ हुई।

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इसके बाद दोनों युवतियों को साध्वी के वेशभूषा में दीक्षास्थल लाया गया। इसके बाद संतों के आशीर्वाद से दीक्षा प्रारंभ हुई। यह प्रक्रिया लगभग डेढ़ घंटे चली। दीक्षा प्रदाता आध्यात्मिक योगी श्री महेंद्र सागर जी मसा और गुरुवर्या श्री मणिप्रभा श्रीजी मसा ने दीक्षा दी।
उज्जैन की अंकिता ने 17 साल किया इंतजार
उज्जैन की अंकिता जैन को इस दिन के लिए 17 साल इंतजार करना पड़ा। ज्योतिषशास्त्र में पीएचडी अंकिता जैन परिजनों के साथ यहां पहुंचीं। उनके पिता भी उज्जैन के प्रतिष्ठित व्यापारी हैं, लेकिन उनका नाम पता जैन धर्मगुरुओं ने नहीं बताया।
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