कंपनी के मुख्य कार्यकारी अधिकारी दारा खोसरोवशही ने एक बयान में कहा, ‘ऐसा कुछ भी नहीं होना चाहिए था और मैं इसके लिए कोई बहाना नहीं बनाऊंगा।
खोसरोवशही के अनुसार उबर सूचना सुरक्षा दल के दो सदस्य को मंगलवार को ही तत्काल प्रभाव से कंपनी से निकाल दिया है। इन दोनों ने समय पर उपभोक्ताओं को जानकारी नहीं दी कि उनका डाटा चुराया गया है। उन्होंने कहा कि उन्हें हाल ही में केवल इतना पता चला है कि किसी बाहरी व्यक्ति ने कंपनी द्वारा इस्तेमाल किए जाने वाले क्लाउड सर्वर की सुरक्षा में सेंध लगाकर बड़ी मात्रा में डाटा डाउनलोड कर लिया।
उबर के अनुसार चुराई गई जानकारियों में उपभोक्ताओं के नाम, ई-मेल एड्रेस, मोबाइल नंबर और करीब छह लाख ड्राइवरों के नाम और उनके लाइसेंस नंबर चोरी किए गए हैं। बावजूद इसके उपभोक्ताओं और चालकों को सूचना नहीं दी गई जिनकी सूचनाओं को खतरा था।
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