चुनाव की तारीख़, संवेदनशील सूचनाएं व डेटा और लगातार लीक होते विभिन्न परीक्षाओं के पेपर्स दरअसल सरकार व व्यवस्था के गलत हाथों में चले जाने का परिणाम है. दुबारा इम्तिहान देकर दूसरों की गलती की सज़ा देश के बच्चे व युवा क्यों भुगतें और इसकी क्या गारंटी कि पेपर फिर से लीक नहीं होगा.
अखिलेश ने एक ट्वीट करते हुए लिखा कि “चुनाव की तारीख़, संवेदनशील सूचनाएं व डेटा और लगातार लीक होते विभिन्न परीक्षाओं के पेपर्स दरअसल सरकार व व्यवस्था के गलत हाथों में चले जाने का परिणाम है. दुबारा इम्तिहान देकर दूसरों की गलती की सज़ा देश के बच्चे व युवा क्यों भुगतें और इसकी क्या गारंटी कि पेपर फिर से लीक नहीं होगा.”