वन्य जीव प्रेमियों के लिए खुशखबरी है। नैनीताल प्राणी उद्यान प्रबंधन वन्य जीवों को अपना बनाने का सुनहरा अवसर दे रहा है। अब तय शुल्क पर देश का कोई भी व्यक्ति बंगाल टाइगर, गुलदार, रेड पांडा समेत अन्य वन्य जीवों का पालनहार बन सकता है। जीबी पंत प्राणि उद्यान में पक्षी समेत विभिन्न प्रजातियों के 211 जीव हैं, जिनके भोजन और अन्य रखरखाव में प्रतिमाह करीब 20 लाख का खर्च आता है। पिछले साल कोविड के बाद पर्यटन गतिविधि कम होने से आमदनी में लगातार गिरावट आ रही है। इससे प्राणियों के भरण-पोषण का संकट भी खड़ा हो रहा है। अब प्रबंधन प्राणियों को गोद देकर उनके भरण-पोषण का खर्च जुटाने में लगा है।
211 प्राणियों में से 38 किए गए है अंगीकृत
डीएफओ ने बताया कि जू के 211 वन्य जीवों में से 38 जीवों को विभिन्न संस्थाओं और व्यक्तियों ने गोद लिया है। अंगीकरण संबंधित सूचना बोर्ड लगाकर जीवों के बाड़े के आगे डिस्प्ले की जाती है।
25 प्रतिशत राशि देकर भी बन सकते हैं पालनहार
वन्य जीवों के अंगीकरण के लिए निश्चित राशि तय की गई है। राशि अदा करने वाले व्यक्ति को एक वर्ष के लिए प्रतिपालक घोषित किया जाता है, मगर लोग जीवों को अंगीकृत करने में कम रुचि दिखा रहे हैं, जिस कारण अब तय राशि का 25 प्रतिशत हिस्सा अदा करके लोग जीव के आंशिक प्रतिपालक बन सकते हैं।
देश में कहीं से ले सकते हैं गोद
डीएफओ ने बताया कि देश के किसी भी हिस्से में रहने वाले लोग यहां के प्राणियों को गोद ले सकते हैं। इसके लिए इच्छुक लोग जू की वेबसाइट https://www.nainitalzoo.org.in/ पर जाकर अंगीकृत फार्म डाउनलोड कर सकते हैं। इसके अलावा वेबसाइट पर दिए गए फोन नंबर और ईमेल पर जानकारी भी ली जा सकती है। ड्राफ्ट और आनलाइन भुगतान करके आसानी से से जीवों का पालनहार बना जा सकता है।
यह है अंगीकरण शुल्क
बंगाल टाइगर- चार लाख
लेपर्ड- एक लाख
तिब्बती भेडिय़ा- 80 हजार
हिमालयन काला भालू- 50 हजार
हिमालयन पाम सीवेट- 15 हजार
रेड पांडा- 30 हजार
सांभर- 30 हजार
ब्लू शीप- 13 हजार
मारखोर- 13 हजार