जम्मू-कश्मीर के अनंतनाग में आतंकियों द्वारा सरपंच की हत्या किए जाने के बाद स्थानीय लोगों में डर बढ़ गया है. घाटी में इस तरह आतंकियों के द्वारा कश्मीरी पंडित सरपंच की हत्या किए जाने के बाद बाकी सरपंचों में खौफ है. यही कारण है कि घाटी के कई कश्मीरी पंडित पंच और सरपंच अपना घर छोड़ जम्मू की ओर शिफ्ट हो गए हैं, ताकि सुरक्षित रह सकें.
गौरतलब है कि बीते सोमवार को जम्मू कश्मीर के अनंतनाग जिले में आतंकियों ने सरपंच अजय पंडिता की गोली मारकर हत्या कर दी थी. लश्कर-ए-तैयबा से जुड़े संगठन द रेजिस्टेंस फ्रंट (TRF) ने इस हत्या की जिम्मेदारी ली थी.
अजय पंडिता का संबंध कांग्रेस पार्टी से था. जिसके बाद से ही घाटी में सुरक्षा को लेकर सवाल हो रहे हैं और देश की सियासत गर्मा गई है.
अजय पंडिता को आतंकियों ने उनके घर के पास ही गोलियों से भून दिया था, अस्पताल में उनकी मौत हो गई थी. अभी पुलिस इस मामले की पूरी जांच पड़ताल कर रही है.
पिछले दिनों में आतंकियों के द्वारा जम्मू-कश्मीर में कई आतंकी हमले करने की कोशिश की गई थी, लेकिन असफल रही. लेकिन इस बार एक सरपंच को निशाना बनाया गया, जिसमें आतंकियों को सफलता मिल गई. जम्मू-कश्मीर में सुरक्षाबलों और आतंकियों के बीच भी लगातार कई मुठभेड़ हो रही हैं, जिनमें पिछले दो-तीन दिनों में ही एक दर्जन से अधिक आतंकी मारे जा चुके हैं.
अजय पंडिता का संबंध कांग्रेस पार्टी से था, ऐसे में कांग्रेस नेता राहुल गांधी ने ट्वीट कर उनकी हत्या पर दुख व्यक्त किया. राहुल गांधी ने लिखा था कि अजय पंडिता ने कश्मीर में लोकतांत्रित व्यवस्था बनाए रखने के लिए अपनी जान दे दी. इस दुख की घड़ी में मैं उनके परिवार और दोस्तों के साथ खड़ा हूं. हिंसा की कभी जीत नहीं हो सकती.
साथ ही केंद्रीय स्वास्थ्य मंत्री डॉ. हर्षवर्धन ने कहा कि अजय पंडिता का बलिदान व्यर्थ नहीं जाएगा. उनकी हत्या, कश्मीर में आम लोगों में डर और विभिन्न वर्गों में नफरत पैदा करने की एक साजिश है.
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