झारखंड से 3 मजदूर रोजी-रोटी की तलाश में आए थे, लेकिन एक गलती उनकी जान पर भारी पड़ी। उन्होंने लंबे रास्ते की जगह शॉर्टकट लिया और सामने से मौत बनकर ट्रेन आ गई।
ट्रेन की रफ्तार इतनी तेज थी कि इन्हें भागने का वक्त नहीं मिला और पटरी पर उनकी लाशें बिछ गईं। हादसे में 3 की मौत हुए और 1 गंभीर रूप से घायल है। यह हादसा बिहार के औरंगाबाद जिले के रतिगंज के पास हुआ। यहां नदी पार करने के लिए कोई पुल नहीं है। लोग नदी के पार जाने के लिए आमतौर पर रेल पुल का इस्तेमाल करते हैं। सड़क पुल से नदी पार करने के लिए कई km अधिक जाना पड़ता है।
इस पुल पर ट्रेन आने की सूरत में नदी में कूदने या फिर ट्रेन से कटने के अलावा तीसरा कोई चारा नहीं है। लोग जानते हैं कि दोनों ही स्थिति में मौत संभव है, लेकिन जान जोखिम में डालकर वे पुल यूज करते हैं।
धान की कटाई करने आए थे मजदूर
शुक्रवार सुबह भी ऐसा ही हुआ। झारखंड के पलामू जिले से कुछ मजदूर धान की कटाई कर पैसे कमाने औरंगाबाद आए थे। मजदूर गया-मुगलसराय रेलखंड के जाखिम स्टेशन के पास स्थित रेल पुल से नदी पार कर रहे थे। उन्हें अमरपुरा गांव जाना था।
वे बीच पुल पर पहुंचे ही थे कि तेज रफ्तार ट्रेन आई और उन्हें कुचलते हुए चली गई। हादसा इतना भयावह था कि मौके पर मजदूरों की लाशें बिछ गईं। घटना की सूचना मिलते ही सोननगर रेलवे पुलिस मौके पर पहुंची। अभी मृतकों की पहचान नहीं हुई है।
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