नई दिल्ली आरबीआई की मौद्रिक समीक्षा नीति के बाद गवर्नर उर्जित पटेली ने भले ही ब्याज दरों में कोई भी बदलाव नहीं करने की बात कहकर लोगों को एक झटका दिया है।
लेकिन इसी के साथ उन्होंने घोषणा कर दी कि जैसे ही हालात पटरी पर आएंगे बैंकों और एटीएम से निकाले जाने वाली रकम पर लगाई लिमिट को हटा लिया जाएगा। हालांकि आरबीआई गवर्नर उर्जित पटेल ने यह नहीं बताया कि कितने दिनों के बाद लोगों को यह राहत मिलेगी। वैसे वह यह कहना नहीं भूले ही देश में पैसों की कमी नहीं है और हम चाहते हैं कि लोग कैशलेस व्यवस्था को आगे बढ़ाने की तरफ ध्यान दे।
मुख्य बातें
7वें वेतन आयोग की वजह से अगले साल महंगाई बढ़ेगी।
जनवरी-मार्च 2017 तक 5% महंगाई का लक्ष्य।
उपभोक्ता मूल्य सूचकांक (सीपीआई) महंगाई 0.10-.015% तक बढ़ सकती है।
100% सीआरआर 10 दिसंबर से वापस।
जनवरी 2015 से आरबीआई ने रीपो रेट में 7 बार कटौती की है।
खराब होने वाले सामानों के दाम घटेंगे। एमपीसी कमिटी मार्च तक 5 फीसदी सीपीआई लक्ष्य के पक्ष में है।
नोटबंदी से दिक्कतों का आरबीआई और सरकार को अंदाजा था। फैसला जल्दबाजी में नहीं लिया।
जाली धन, कालेधन पर रोक के लिए नोटबंदी का फैसला लिया गया।
11.55 लाख करोड़ रुपये के पुराने नोट बैंकों में वापस आ चुके हैं।
4 लाख करोड़ रुपये के नए नोट छपे और पब्लिक को दिए गए।
नोटबंदी के असर का इंतजार है, प्रभाव का आकलन किया जाएगा।
पैसा निकालने की सीमा की समीक्षा करेंगे।
100 और 500 रुपये के नोट की प्रिंटिग में लाई गई तेजी।