इससे पहले दोनों नेताओं के बीच अप्रैल में चीन के वुहान शहर में दो दिवसीय अनौपचारिक सम्मेलन हुआ था। फिर उनकी मुलाकात जून में चीन के ही किंगदाओ में आयोजित शंघाई सहयोग संगठन सम्मेलन से इतर हुई थी। शी के साथ अपनी हाल की मुलाकातों का जिक्र करते हुए मोदी ने कहा कि उन्होंने भारत-चीन संबंधों को एक नई ताकत दी है और दोनों देशों के बीच सहयोग के नए अवसर भी प्रदान किए हैं।
मोदी ने शी से मुलाकात के दौरान कहा कि इस गर्मजोशी को बनाए रखना जरूरी है और इसके लिए हमें अपने स्तर पर नियमित रूप से अपने संबंधों की समीक्षा करनी होगी और जरूरत पड़ने पर उचित निर्देश भी जारी करने होंगे। उन्होंने कहा कि आज की मुलाकात से दोनों देशों को अपनी घनिष्ठ विकास भागीदारी मजबूत करने का एक और अवसर मिल गया है।
प्रधानमंत्री कार्यालय ने ट्वीट कर लिखा है, भारत-चीन की मित्रता और आगे बढ़ी। पीएम मोदी और राष्ट्रपति शी जिनपिंग ने दक्षिण अफ्रीका में ब्रिक्स सम्मेलन से इतर बातचीत की। समझा जाता है कि दोनों नेताओं ने अंतरराष्ट्रीय परिदृश्य, ब्रिक्स सहयोग तथा आपसी हित के अन्य मुद्दों पर अपने-अपने विचार रखे।