ब्लड प्रेशर साइलेंट किलर है, जो मनुष्य की आयु कम करता है। यह दिल को बहुत नुकसान पहुंचाता है और मृत्यु का कारण बनता है। जब ब्लड प्रेशर बढ़ता है तो हार्ट को अधिक काम करना पड़ता है। इससे हार्ट फेल होने का खतरा रहता है। जानें किन चीजों को ध्यान में रख हम ब्लड प्रेशर कंट्रोल कर सकते हैं।
यदि अठारह वर्ष से अधिक उम्र के लोगों में सिस्टॉलिक 140 मिमी से अधिक तथा डायस्टॉलिक 90 मिमी से अधिक है तो रोगी हाई ब्लड प्रेशर की श्रेणी में आता है।
– शुरूआती अवस्था में 2-3 मिनट के अंतराल के बाद, तीन रक्तचाप के नाप का औसत निकालकर नाप लिया जाता है।
– ब्लड प्रेशर की जांच के आधे घंटे के पहले धूम्रपान, शराब, चाय, कॉफी या शारीरिक श्रम नहीं करना चाहिए।
– रोगी को शांत वातावरण में पांच मिनट तक आराम से बैठने के बाद रक्तचाप की जांच करानी चाहिए।
– छाती के बीच दर्द या असहज महसूस होना।
– सांस लेने में परेशानी होना और उल्टी महसूस होना।
– बोलने या बातचीत करने में परेशानी होना।
– चलने में कठिनाई और चक्कर आना।
– शरीर के किसी हिस्से में कमजोरी लगना।
– बीपी बराबर चेक कराते रहना चाहिए।
– हरी सब्जी और मौसमी फल का सेवन करें।
– डायबिटीज को कंट्रोल करें और डॉक्टर की निगरानी में रहें।
– डाइट, वजन और कोलेस्ट्रॉल कंट्रोल करें।
– नमक कम खाएं और मसालेदार भोजन से बचें।
– अल्कोहल तथा तंबाकू के सेवन से बचें।
– योग और ध्यान के साथ ही स्ट्रेस मैनेजमेंट करें।
– नॉर्मल ब्लड प्रेशर 100 से 70 के बीच होता है लेकिन इसकी रेंज 120 से 90 तक होती है।
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