मार्केट में हर दिन नए नए फूड आइटम्स देखने में काफी लुभावने और खाने में भी काफी स्वादिष्ट होते हैं जिन्हें एक बार चखकर जी नहीं भरता और इसका असर हमारे दिल पर पड़ता है। ऐसे फूड आइटम्स से दूरी बना लेनी चाहिए।
आज के समय के मॉडर्न लाइफस्टाइल को देखते हुए यह कहना गलत नहीं होगा कि आने वाले सालों में हृदय और हृदय प्रणाली को स्वस्थ रखना बेहद चुनौतीपूर्ण होने वाला है। मार्केट में हर दिन नए नए फूड आइटम्स देखने में काफी लुभावने और खाने में भी काफी स्वादिष्ट होते हैं, जिन्हें एक बार चखकर जी नहीं भरता और इसका असर हमारे दिल पर पड़ता है। जी हां, हम जो कुछ भी खाते हैं, उसका असर केवल हमारे पेट पर ही नहीं बल्कि दिल पर भी गंभीर रूप से पड़ता है। इसलिए आज हम आपको कुछ ऐसे फूड आइटम्स के बारे में बताने जा रहे हैं, जो हमारे हृदय को समय से पहले ही बूढ़ा बनाने का काम कर रहे हैं। इनका सेवन हमें जल्द से जल्द बंद या फिर सीमित कर देना चाहिए।
हानिकारक फूड आइटम्स-
फास्ट-फूड बर्गर
सैचुरेटेड फैट वास्तव में हृदय रोग से जुड़ा हुआ है या नहीं, इस पर विज्ञान पूरी तरह से स्पष्ट नहीं है। लेकिन विशेषज्ञ इस बात पर जरूर जोर देते हैं कि रेस्तरां में मिलने वाले फास्ट-फूड से बचना दिल का ख्याल रखने के लिए सबसे अच्छा उपाय है। क्योंकि यहां मिलने वाले खाने में स्वाद ज्यादा और गुणवत्ता बेहद कम होती है।
प्रोसेस्ड मीट
कोल्ड कट और क्योर मीट (जैसे बेकन और सॉसेज) में सैचुरेटेड फैट की मात्रा काफी ज्यादा होती है। लेकिन कम फैट वाले मीट में भी सोडियम की मात्रा काफी ज्यादा पाई जा सकती है। रोजाना मीट के सिर्फ छह पतले स्लाइस में भी सोडियम के दैनिक अनुशंसित स्तर का आधा हिस्सा हो सकता है। इसलिए कोशिश करें इसका सीमित मात्रा में ही सेवन किया जाए।
डीप फ्राइड फूड्स
कई अध्ययनों ने तले हुए फूड आइटम्स, जैसे फ्रेंच फ्राइज़, तले हुए चिकन और तले हुए स्नैक्स के सेवन को हृदय रोग के बढ़ते जोखिम से जोड़ा है। तले हुए फूड्स ट्रांस फैट बनाते हैं, ऐसा फैट जो खराब प्रकार के कोलेस्ट्रॉल को बढ़ाता है और अच्छे प्रकार को कम करता है। हृदय के लिए इसे काफी खतरनाक माना जाता है।
कैंडी
अब तक फैट को हृदय रोग का सबसे बड़ा कारण माना जाता था। लेकिन कुछ हालिया रिपोर्ट्स में यह खुलासा किया गया कि चीनी भी इसके लिए काफी हद तक जिम्मेदार है। अब, विशेषज्ञों का कहना है कि अतिरिक्त चीनी से मोटापा, सूजन, उच्च कोलेस्ट्रॉल और मधुमेह जैसे रोगों का उतना ही बड़ा खतरा हो सकता है और यह सभी हृदय रोग के जिम्मेदार हैं।
कोल्ड ड्रिंक, सॉफ्ट ड्रिंक और अन्य मीठे पेय पदार्थ
आहार में अतिरिक्त चीनी का सबसे बड़ा स्रोत भोजन से नहीं, बल्कि पेय पदार्थों से है। जैसा कि बता गया है कि चीनी कई अन्य गंभीर जोखिमों के कारक हैं और यह सभी मिलकर हृदय पर नकारात्मक असर डालते हैं।
मीठा अनाज
ऐसे खाद्य पदार्थ जो देखने में संतुलित आहार का हिस्सा लगते हैं, जैसे नाश्ते में खाए जाने वाले अनाज, वे भी चीनी से भरे हो सकते हैं। सुबह में पैश्चराइज्ड कार्बोहाइड्रेट और शक्कर खाने से सूजन पैदा होती है और रक्त शर्करा ऊपर और नीचे जाता है, इसलिए आप पूरे दिन अधिक चीनी चाहते हैं। इसके बजाय, नाश्ते में अंडे या एवोकैडो के साथ फल और कुछ टोस्ट खाए जा सकते हैं।
कुकीज़ और पेस्ट्री
अधिकांश बेक किए हुए सामान – विशेष रूप से जो बाजार में बिकने के लिए बनाए जाते हैं उनमें काफी अधिक मात्रा में चीनी होते हैं और संभवतः सैचुरेटेड फैट (जैसे मक्खन या ताड़ के तेल) या ट्रांस वसा (जैसे आंशिक रूप से हाइड्रोजनीकृत वनस्पति तेल) से बने होते हैं। यह हृदय के साथ-साथ संपूर्ण स्वास्थ्य के लिए हानिकारक होते हैं।
नकली मक्खन
बाजार में मिलने वाले मक्खन में भी सैचुरेटेड फैट पाए जाते हैं जो हृदय संबंधी जोखिमों को बढ़ावा दे सकते हैं। इसलिए इसे एक निश्चित मात्रा में सेवन करने की सलाह दी जाती है।
पिज्जा
प्रोसेस्ड और क्योर मीट के बाद, पिज्जा को दिल के लिए सबसे खतरनाक माना गया है। क्योंकि इसमें बेहद अधिक मात्रा में नमक शामिल है। साथ फैट बढ़ाने का भी यह एक बड़ा स्त्रोत है। विशेषज्ञ कहते हैं कि अगर पिज्जा खाते समय और मीट या पनीर पिज्जा चुन रहे हैं, तो खुद को एक या दो स्लाइस तक ही सीमित रखें या फिर इसके बजाय वेजी टॉपिंग चुनें।
डाइट सोडा
डाइट सोडा भले ही फैट फ्री और कैलोरी फ्री हो सकता है, लेकिन इसके भी अपने कुछ नुकसान हैं। लोगों में यह धारणा है कि यह हेल्दी होते हैं। लेकिन वास्तव में ऐसा नहीं हैं। मोटापे और मधुमेह जैसे विकार हृदय रोग को बढ़ावा देते हैं और यह डाइट कोक की अधिक सेवन से संभव है। इसलिए इसका सेवन सीमित करें।