कर्नाटक चुनावों में मंगलवार को परिणाम आने के बाद, आज कर्नाटक सियासत के लिए निर्णायक दिन है. कर्नाटक में फ़िलहाल स्थिति पेंडुलम की तरह है, किसी भी पार्टी को बहुमत प्राप्त नहीं हुआ है. इसी के चलते आज बीजेपी के मुख्यमंत्री पद के उम्मीदवार बीएस येदियुरप्पा की अगुवाई में सभी 104 विधायकों की उपस्थिति में 11 बजे पार्टी विधायक दल की बैठक होगी. वहीं कांग्रेस भी सिद्धारमैया के नेतृत्व में कर्नाटक प्रदेश कांग्रेस कमिटी के दफ्तर में 78 विधायकों के साथ बैठक करने वाली है.
त्रिशंकु विधानसभा नतीजों के बाद सभी की निगाहें राज्यपाल पर टिकी हैं कि सरकार बनाने के लिए वे पहले किसको निमंत्रित करते हैं. राज्यपाल के सामने इसके लिए दो विकल्प होंगे, या तो राज्यपाल, पीएम मोदी की पार्टी भाजपा को पहले निमंत्रण देकर बहुमत साबित करने का मौका दें, या फिर कांग्रेस-जेडीएस को अपनी गठबंधन सरकार बनाने के लिए आमंत्रित करें. विशेषज्ञ सुभाष कश्यप का कहना है कि ये पूरी तरह राज्यपाल पर निर्भर है कि वे सरकार बनाने के लिए पहले किसे आमंत्रित करते हैं
इससे पहले कांग्रेस के महासचिव गुलाम नबी आजाद ने मीडिया से कहा कि जेडीएस और कांग्रेस राज्यपाल से मिलेंगे और सरकार बनाने का दावा करेंगे. आजाद के साथ सिद्धारमैया भी मौजूद थे. कांग्रेस के इस प्रस्ताव को पूर्व प्रधानमंत्री एच.डी देवेगौड़ा की अगुवाई वाली जेडीएस ने फ़ौरन स्वीकार कर लिया था. इस बारे में खुद सीएम पद के उम्मीदवार कुमारस्वामी ने कहा था कि, “मैंने सरकार बनाने के लिए कांग्रेस का समर्थन स्वीकार किया है.”