नरेला औद्योगिक क्षेत्र में मंगलवार रात लूट के मामले में आरोपित बदमाश को पकड़ने बवाना गई पुलिस टीम पर आरोपित पक्ष ने हमला कर दिया। पुलिस टीम पर चाकू, पेचकस, कांच के टुकड़ों व पत्थरों से हमला किया गया। हमले में एक एएसआइ के पेट में चाकू लगा, जबकि एक अन्य सिपाही के सिर में पेचकस से कई वार किए गए। हमले में कुल छह पुलिसकर्मी जख्मी हो गए।
खबर मिलते ही पीसीआर और थाने से पुलिस पहुंच गई और मुख्य आरोपित मनीष को काबू कर लिया गया, जबकि अन्य आरोपित फरार हो गए। घायल पुलिसकर्मियों को अंबेडकर अस्पताल ले जाया गया, जहां एएसआइ राम नारायण और कांस्टेबल विनयपाल का इलाज जारी है। अन्य पुलिसकर्मियों को प्राथमिक उपचार के बाद छुट्टी दे दी गई। पुलिस ने गैर इरादतन हत्या का प्रयास, धारदार हथियार से हमला करने, सरकारी काम में बाधा और ड्यूटी के दौरान हमला करने का मामला दर्ज कर आरोपितों की तलाश शुरू कर दी है।
उत्तरी बाहरी जिला पुलिस उपायुक्त गौरव शर्मा ने बताया कि पुलिस को बवाना निवासी आरोपित मनीष की तलाश थी। मंगलवार को एएसआइ राम नारायण को सूचना मिली कि मनीष अपने घर आने वाला है। सूचना मिलते ही राम नारायण ने हेड कांस्टेबल संदीप, मुकेश, नारायण, कांस्टेबल अमित, विनयपाल, विनोद व विष्णु को छापेमारी के लिए बुलाया। पुलिस की टीम डी-ब्लॉक पुनर्वासित कॉलोनी पहुंच गई।
वहां पहुंचकर टीम ने मनीष को काबू कर लिया। इसी दौरान मनीष ने शोर मचाकर अपने पूरे परिवार को बुला लिया। करीब 20 लोग इकट्ठा हो गए, जिनके हाथ में पेचकस, पत्थर व कांच के टुकड़े थे। इन लोगों ने विनयपाल के सिर में पेचकस से हमला कर दिया।
एक युवक ने राम नारायण के पेट में चाकू मार दिया। बाकी लोगों ने पत्थर व कांच से अमित, विनोद, मुकेश और संदीप को घायल कर दिया। तमाम विरोध के बीच पुलिस टीम ने मनीष पर पकड़ बनाए रखी। इस बीच मामले की जानकारी थाने में दी गई। थाने से आई पुलिस की टीम के मौके पर पहुंचते ही सभी फरार हो गए।