वेस्टइंडीज की अच्छी शुरुआत के बावजूद भारत ने दूसरा टेस्ट मैच भी तीन दिन में खत्म कर दिया और इसके साथ ही सीरीज भी जीत ली। हालांकि क्रिकेट पर राज करने वाली इस टीम का ऐसा हाल देखकर दुख होता है। कभी हमें वे इसी तरह हराते थे। यह देखना सुखद है कि भारतीय युवा टीम शानदार क्रिकेट खेल रही है।
यह सही है कि वेस्टइंडीज की टीम कई स्टार खिलाड़ियों के ना होने से कमजोर हुई है। इन खिलाड़ियों ने पैसों से भरी टी-20 लीग को तवज्जो दी। इस वजह से पिछले एक दशक से उन्हें कमजोर टीम के साथ ही खेलना पड़ रहा है। कैरेबियाई द्वीप बहुत सुंदर हैं, लेकिन वहां नौकरी के विकल्प कम हैं। ऐसे में यह समझ आता है की वे अपना भविष्य सुरक्षित कर रहे हैं।
कुछ खिलाड़ियों के नहीं होने से उनकी गेंदबाजी कमजोर हुई, लेकिन उनकी बल्लेबाजी ने ज्यादा निराश किया। सपाट पिच पर उन्होंने खराब बल्लेबाजी की। हैदराबाद में रोस्टन चेस और कप्तान जेसन होल्डर ने जिस ढंग से बल्लेबाजी की, बाकी को उनसे सीखना चहिए। हेटमायर और एंब्रिस जिस ढंग से आउट हुए उसे देखकर लगता है कि वे इस स्तर पर खेलने लायक हैं भी या नहीं। बल्लेबाजी क्रम में बदलाव से भी कोई फायदा नहीं हुआ। चेस और होल्डर को ऊपर बल्लेबाजी करनी चाहिए।
ये तीन युवा हैं भारत का भविष्य
भारत एक और सीरीज जीत से संतुष्ट होगा, जहां तीन युवाओं ने अच्छा खेल दिखाया। पृथ्वी की रनों की भूख कमाल है और रिषभ पंत ने भी प्रभावित किया। कुलदीप यादव ने अपनी लाइन और लेंथ में बदलाव कर पहली बार पांच विकेट लिए। ये तीनों खिलाड़ी भारत का भविष्य हैं। हालांकि उन्हें उतार-चढ़ाव देखने होंगे, लेकिन उनके पास वो काबिलियत है कि वापसी कर सकें। इसके बाद उमेश यादव हैं जिन्होंने 10 विकेट लिए। उन्होंने शानदार गेंदबाजी करते हुए गेंद को रिवर्स स्विंग कराया। भारत के पास अब नई गेंद से गेंदबाजी करने वालों का अच्छा स्टॉक है। यह भविष्य के लिए अच्छा है। टेस्ट जीतने के बाद अब सभी नजरें वनडे सीरीज पर हैं।
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