जानिए कैंसर की महंगी दवाओं का सेहत पर होता है कितना असर

कैंसर में दी जाने वाली महंगी दवाओं के बारे में एक हालिया अध्ययन की रिपोर्ट में कुछ ऐसे खुलासे किए गए हैं, जिन्हें सुनकर आप चौंक जाएंगे.

जानिए कैंसर की महंगी दवाओं का सेहत पर होता है कितना असरअध्ययन की रिपोर्ट के अनुसार कैंसर बीमारी को ठीक करने के नाम पर दी जाने वाली महंगी दवाओं को दरअसल, सेहत पर कोई असर होता ही नहीं है. वास्तव में इन दवाओं से रोगी की हालत में कोई सुधार नहीं होता.

जबकि ये महंगी दवाएं रोगियों में मौत के खतरे को बढ़ा देती हैं. सुधार के नाम पर दी जाने वाली इन दवाओं के कारण कैंसर पीड़ि‍त रोगी में सुधार होने की बजाय उनकी स्थि‍ति और भी खराब हो जाती है.

यह लंदन के किंग्स कॉलेज और लंदन स्कूल ऑफ इकोनॉमिक्स के शोधकर्ताओं ने किया है. अध्ययनकर्ताओं के अनुसार कैंसर ठीक करने के नाम पर झूटी आशाओं के साथ बेची जाने वाली ये दवाएं व्यक्ति के शरीर पर बुरा असर डालती हैं.

यह अध्ययन साल 2009 से 2013 तक किया गया. इसके दौरान 57 फीसदी मामलों में यह पाया गया कि कैंसर में दी जाने वाली दवाओं से मरीजों को ज्यादा लाभ नहीं होता है.

एक दूसरी स्ट्डी में यह खुलासा किया गया कि हालांकि ज्यादातर महंगी दवाओं से कैंसर पीड़ित व्यक्तिe की हालत में कोई सुधार नहीं होता, लेकिन जिन दवाओं का थोड़ा-बहुत असर होता है, वो रोगी के जीवन को सिर्फ 2 से 3 महीने ही बचा पाती हैं.

लेकिन ये दवाएं इतनी महंगी होती हैं कि इसे खरीद पाना सभी मरीजों के बस की बात नहीं होती.

एलएसई के शोधकर्ता हुसैन नैसी के अनुसार कैंसर की दवाओं में सुधार करने की काफी जरुरत है. यूरोपियन मेडिकल एजेंसी द्वारा दिए गए अप्रूवल के कारण ब्रिटेन के साथ सभी यूरोपियन देशों में ये दवाएं बेचीं जा रही हैं.

बता दें कि यूरोपियन मेडिकल एजेंसी द्वारा दिए गए अप्रूवल वाली दवाओं को कई बार NICE ने स्वीकारने से इनकार भी किया है.

साथ ही शोधकर्ताओं के ब्रिटिश मेडिकल जर्नल में प्रकाशित एक शोध के अनुसार ऐसी महंगी दवाओं, जिनका बीमारी पर कोई असर नहीं होता वो पीड़ित व्यक्ति के लिए काफी नुकसानदायक साबित होती हैं. अध्ययनकर्ताओं के मुताबिक यह एक तरह से संसाधनों का गलत इस्तेमाल है. इस रिसर्च में यह भी सामने आया कि ज्यादातर दवाओं को गलत आधार पर अप्रूव किया गया.

यह भी सामने आया कि 35 फीसदी इलाज में इन दवाओं से बीमारी ठीक हुई और केवल 10 फीसदी इलाज में सुधार दिखाई दिया. जबकि 57 फीसदी इलाज ऐसे थे, जिनमें ना बीमारी ठीक हुई और ना ही कुछ सुधार हुआ.

Powered by themekiller.com anime4online.com animextoon.com apk4phone.com tengag.com moviekillers.com