नेशनल कांफ्रेंस (एनसी) व पीपुल्स डेमोक्रेटिक पार्टी (पीडीपी) कार्यकर्ताओं ने रविवार को जम्मू-श्रीनगर राजमार्ग पर रविवार व बुधवार को नागरिक यातायात पर रोक लगाने के खिलाफ प्रदर्शन किया. इस प्रदर्शन के दौरान एक नेता ने कहा कि यह रोक ‘मानवीय आपदा’ बन गई है.
राज्य सरकार ने जम्मू एवं कश्मीर में राजमार्ग पर सुरक्षा बलों के काफिले का सुरक्षित आवागमन सुनिश्चित करने के लिए रविवार व बुधवार को नागरिक व सार्वजनिक परिवहन को राजमार्ग पर प्रतिबंधित किया है. नेशनल कांफ्रेंस के नेता व पूर्व मुख्यमंत्री उमर अब्दुल्ला व पीपुल्स कांफ्रेस नेता सज्जाद लोन ने रोक की समीक्षा की मांग की है.
सेवानिवृत्त न्यायाधीश हसनैन मसूदी की अगुवाई में एनसी समर्थकों ने अनंतनाग जिले में वानपोह राजमार्ग पर विरोध प्रदर्शन किया. मसूदी एनसी उम्मीदवार के तौर पर अनंतनाग निर्वाचन क्षेत्र से लोकसभा चुनाव लड़ रहे हैं.
पीडीपी कार्यकर्ताओं ने श्रीनगर के बाहरी इलाकों में किया प्रदर्शन
पीडीपी कार्यकर्ताओं ने श्रीनगर शहर के बाहरी इलाके में अथवाजन में विरोध प्रदर्शन किया. कार्यकर्ताओं ने राजमार्ग पर जुलूस निकालने की कोशिश की, लेकिन सुरक्षा बलों ने इसमें दखल दिया.
अब्दुल्ला ने ट्वीट किया कि उरी जाते वक्त मैंने लोगों को होने वाली असुविधा को देखा, जो राजमार्ग को बंद करने के नासमझी भरे आदेश की वजह से आज लोगों को हुई है.
लोन ने ट्वीट किया कि राजमार्ग पर रोक अब मानवीय आपदा में बदल रही है. राज्य भर से इसे लेकर कॉल आ रहीं हैं. लोगों को यात्रा करने की सख्त जरूरत है..वे बेबस हो गए हैं. राज्यपाल को अमानवीय आदेश को तत्काल रद्द करने की जरूरत है.
आज से प्रभावी हुआ है आदेश
यह आदेश रविवार को प्रभावी हुआ. यह आदेश जम्मू खंड के उधमपुर जिले से घाटी के बारामूला जिले तक राष्ट्रीय राजमार्ग पर सार्वजनिक व निजी परिवहन को प्रतिबंधित करता है. यह फैसला 14 फरवरी को पुलवामा जिले के राजमार्ग पर हमले के बाद लिया गया है, जिसमें सीआरपीएफ के 40 जवान शहीद हो गए. आदेश में कहा गया कि रविवार व बुधवार को सुबह 4 बजे से शाम 5 बजे तक सिर्फ सुरक्षा बलों के काफिले को राजमार्ग पर यात्रा की इजाजत होगी.