कानपुर में जाजमऊ और बिनगवां एसटीपी से सीधे गंगा और पांडु नदियों में गंदा पानी जा रहा है। इस पर उत्तर प्रदेश नियंत्रण बोर्ड के ठेकेदार कंपनी केआरएमपीएल को नोटिस जारी किया है। प्रोजेक्ट मैनेजर को तत्काल प्लांट का संचालन नियमित रूप से करने के लिए कहा है।
नगर के सभी सीवेज पंपिंग स्टेशनों (एसपीएस), सीवेज ट्रीटमेंट प्लांटों (एसटीपी) का संचालन कानपुर रिवर मैनेजमेंट प्राइवेट लिमिटेड (केआरएमपीएल) कंपनी करती है। उत्तर प्रदेश प्रदूषण नियंत्रण बोर्ड (यूपी पीसीबी) की टीम ने 19 जुलाई को जाजमऊ एसपीटी का निरीक्षण किया था। उस दौरान 130 एमएलडी एसटीपी, 43 एमएलडी एसटीपी और कॉमन सीवेज पंपिंग स्टेशन (सीएसपीएस) की जांच की गई। यूपी पीसीबी के क्षेत्रीय अधिकारी अमित मिश्रा के अनुसार निरीक्षण के दौरान कॉमन सीवेज पंपिंग स्टेशन (सीएसपीएस) का गंगा गेट (बाईपास गेट) खुला पाया गया।
इससे अशोधित सीवेज एयरफोर्स नाले से सीधे गंगा में जाता नजर आया। केआरएमपीएल के प्रोजक्ट मैनेजर को नोटिस दिया था। वहीं, बिनगवां एसटीपी में लगे सात पंपों में से मात्र दो पंप ही चलाए जा रहे हैं। नमामि गंगे के प्रमुख सचिव अनुराग श्रीवास्तव ने 20 जुलाई को इस प्लांट का औचक निरीक्षण निरीक्षण किया, जिसमें यह खुलासा हुआ। जल निगम के प्रोजेक्ट मैनेजर ने सफाई दी कि ठेकेदार कंपनी को कई बार चेतावनी दी गई, पर स्थिति जस की तस है। इस पर प्रमुख सचिव ने कंपनी के अधिकारियों को फटकार लगाई।