राष्ट्रपति चुनाव में सर्वसम्मति बनाने की बीजेपी की पहल को नकार देनेवाले विपक्ष पर बीजेपी ने पलटवार किया है. बीजेपी के राष्ट्रीय अध्यक्ष अमित शाह ने विरोध करनेवाले नेताओं के नाम लिए बिना कहा है कि उनकी आंखों पर चश्मा चढ़ा है. दरअसल, पिछले दिनों में बीजेपी की तरफ़ से कांग्रेस अध्यक्षा सोनिया गांधी और CPM नेता सीताराम येचुरी से संवाद किया.
राष्ट्रपति चुनाव में एकमत बनाने के हेतु बीजेपी की तरफ़ से वरिष्ठ नेता वेंकैया नायडू ने यह जिम्मेदारी निभाई. लेकिन विपक्ष इससे खुश नहीं था. बीजेपी की कोशिश को असफल बताते हुए कांग्रेस नेता ग़ुलाम नबी आजाद ने कहा कि बीजेपी बिना नाम लिए समर्थन की उम्मीद कर रही है. यह नामुमकिन है. तो CPM नेता सीताराम येचुरी का कहना था कि समर्थन किसी व्यक्ति का हो सकता है. बीजेपी कोई नाम ही नहीं सामने रखेगी तो समर्थन किसका होगा?
इन बयानों का जवाब बीजेपी अध्यक्ष अमित शाह ने मुंबई में आयोजित प्रेस कांफ्रेंस में दिया. शाह ने कहा, ‘हम नाम लेकर जाते तो वे क्या उसे स्वीकार करते? कहते नाम तो आप तय कर के आए हैं.’ हालांकि अमित शाह ने यह भी स्पष्ट किया है कि विपक्ष के साथ बातचीत का एक और दौर होगा और अगली बार अब नाम लेकर जाएंगे और बातचीत करेंगे.
गौरतलब है कि पार्टी बढ़ाने के मकसद से मुंबई पहुंचे अमित शाह रविवार को उद्धव ठाकरे से मुलाक़ात करेंगे. राष्ट्रपति चुनाव में शिवसेना को साथ रखने के लिए यह पहल है. शाह ने संवाददाताओं के सवाल के जवाब में यह भी कहा कि शिवसेना हमारी साथी है. उन्होंने जो भी नाम प्रस्तावित किए हैं उनपर भी जरूर सोच विचार होगा.