इजरायल के लिए रवाना हुए मोदी

अभी-अभी: इजरायल के लिए रवाना हुए PM मोदी, रक्षा सहयोग-आतंकवाद एजेंडे में टॉप पर

प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी इजरायल दौरे के लिए रवाना हो गए हैं. पीएम भारतीय समयानुसार करीब शाम साढ़े छह बजे इजरायल के तेल अवीव की धरती पर कदम रखेंगे, तो दोनों देशों के रिश्तों में नया अध्याय जुड़ जाएगा. प्रधानमंत्री के तीन दिवसीय इजरायल दौरे के दौरान कृषि, जल प्रबंधन, इनोवेशन और स्टार्ट-अप जैसे क्षेत्रों पर बातचीत केंद्रित हो सकती है.इजरायल के लिए रवाना हुए मोदी

साल 2017 दोनों देशों के बीच कूटनीतिक संबंधों का 25वां साल है. भारत के किसी प्रधानमंत्री का यह पहला इजरायल दौरा होगा. सन् 1992 में दोनों देशों के बीच कूटनीतिक संबंध स्थापित होने के बाद अक्टूबर 2015 में राष्ट्रपति प्रणब मुखर्जी इजरायल का दौरा करने वाले पहले राष्ट्रपति बने.

इजरायल में क्या है PM मोदी का कार्यक्रम

प्रधानमंत्री मंगलवार की शाम तेल अवीव पहुंचने के बाद कृषि फॉर्म का दौरा करेंगे और उसके बाद बेंजामिन नेतान्याहू के साथ डिनर करेंगे. बुधवार 5 जुलाई को भारतीय समयानुसार दोपहर 1 बजे राष्ट्रपति के साथ बैठक करेंगे. इसके बाद दो बजे नेतन्याहू के साथ बातचीत होगी और फिर दोनों नेता साझा प्रेस कॉन्फ्रेंस करेंगे.

10 साल के मोशे से मिलेंगे PM मोदी

इसके बाद नेतन्याहू के साथ प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी इजरायली म्यूजियम का दौरा करेंगे और रात 11.30 बजे भारतीय समुदाय को संबोधित करेंगे. प्रधानमंत्री मुंबई हमले में जिंदा बचे दस दस साल के मोशे होल्त्जबर्ग से मिलेंगे. मोशे के माता-पिता नरीमन हाउस में आतंकी के हाथों मारे गए थे. तेल अवीव स्थित भारतीय दूतावास के मुताबिक, इजरायल में भारतीय मूल के लगभग 85,000 यहूदी रहते हैं.

भारतीय समुदाय को संबोधित करेंगे PM

गुरुवार 6 जुलाई को दोपहर 2 बजे के करीब प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी भारतीय सैनिकों को श्रद्धांजलि देने हाइफा जाएंगे. इसके बाद इजरायली सीईओ के साथ उनका लंच का कार्यक्रम है. फिर शाम साढ़े सात बजे प्रधानमंत्री जर्मनी के लिए रवाना हो जाएंगे, जहां वह जर्मनी के हैम्बर्ग में जी-20 शिखर सम्मेलन में हिस्सा लेंगे.

बेंजामिन ने मोदी के दौरे को बताया ऐतिहासिक

इजरायल के प्रधानमंत्री बेंजामिन नेतन्याहू ने सोमवार को कहा कि उनका देश भारत के प्रधानमंत्री की ‘एक ऐतिहासिक यात्रा’ की तैयारी कर रहा है. समाचार एजेंसी सिन्हुआ की रिपोर्ट के मुताबिक, नेतन्याहू ने मंत्रिमंडल की साप्ताहिक बैठक के दौरान कहा, “बीते 70 वर्षो के दौरान भारत के किसी प्रधानमंत्री की यह ऐतिहासिक पहली यात्रा है.” मोदी को ‘मेरा मित्र’ करार देते हुए नेतन्याहू ने कहा कि उनके दौरे के दौरान कई जगहों पर वह मोदी के साथ रहेंगे.

नेतन्याहू ने कहा कि मोदी का दौरा इसकी पुष्टि करता है कि भारत के साथ हमारा रिश्ता हाल के वर्षों में प्रगाढ़ हुआ है और उन्हें उम्मीद है कि यह दौरा विभिन्न क्षेत्रों में सहयोग को प्रगाढ़ करेगा.

हथियारों और सुरक्षा समझौतों की पृष्ठभूमि

इजरायली मीडिया की रिपोर्ट के मुताबिक, मोदी का दौरा बीते कुछ महीनों के दौरान दोनों देशों के बीच अरबों डॉलर के हथियारों और सुरक्षा समझौतों पर हस्ताक्षर करने की पृष्ठभूमि में हो रहा है.

अप्रैल महीने में भारत ने मिसाइल सुरक्षा प्रणाली एमआरएसएएम (मध्यम दूरी की सतह से हवा में मार करने वाली मिसाइल) खरीदने के लिए इजरायल एयरोस्पेस इंडस्ट्रीज (आईएआई) के साथ 1.6 अरब डॉलर के समझौते पर हस्ताक्षर किया.

यह प्रणाली हर तरह के हवाई खतरे से निपटने के लिए तैयार की गई है और इसमें लॉन्चर, मिसाइल, रडार प्रणाली और संचार व नियंत्रण प्रणाली मौजूद हैं. माना जा रहा है कि यह आईएआई के साथ अब तक का सबसे बड़ा समझौता है.

1997 में भारत आए इजरायल के राष्ट्रपति

नवंबर 2016 में इजरायल के राष्ट्रपति रूवेन रिवलिन भारत दौरे पर आए. इससे पहले, इजरायल के तत्कालीन राष्ट्रपति एजर विजमान ने जनवरी 1997 में भारत का दौरा किया था, जिसके बाद सितंबर 2003 में प्रधानमंत्री एरियल शेरॉन भारत के दौरे पर आए थे.

GST के बाद आपके शहर में प्रॉपर्टी हुई महंगी या सस्ती: यहां ले पूरी जानकारी….

विदेश मंत्रालय में संयुक्त सचिव (पश्चिम एशिया एवं उत्तर अफ्रीका) बी. बाला भास्कर ने मोदी के दौरे से पहले प्रेस वार्ता में कहा, “सहयोग के नए रास्ते तलाशने के अलावा हम अपने द्विपक्षीय सहयोग को प्रगाढ़ और व्यापक करने के लिए लगातार सक्रिय हैं.”

भारत में है इजरायल की दिलचस्पी

उन्होंने कहा कि इजरायल ने पिछले तीन वर्षों के दौरान भारत की महत्वाकांक्षी योजनाओं मेक इन इंडिया, स्वच्छ गंगा और स्मार्ट सिटी और डिजिटल इंडिया में भागीदारी के लिए ‘काफी उत्सुकता’ दिखाई है.

कृषि क्षेत्र में जारी सहयोग पर उन्होंने कहा, “इजरायल की मदद से हमने विभिन्न राज्यों में उत्कृष्टता केंद्रों की स्थापना की है, जिसका मकसद उत्पादकता बढ़ाना, फसल प्रबंधन तथा जल प्रबंधन है.”

इजरायल में भारत के राजदूत पवन कपूर के मुताबिक, जल प्रबंधन में भारत, इजरायल से काफी कुछ सीख सकता है. रक्षा को सहयोग का एक अहम क्षेत्र करार देते हुए कपूर ने कहा कि यह विकास का केंद्र होगा, जो मोदी के ऐतिहासिक दौरे के दौरान केंद्र में होगा. उन्होंने कहा, “इजरायल हमारा अहम रक्षा आपूर्तिकर्ता है और विश्वसनीय रक्षा आपूर्तिकर्ता है, जिसकी हम सराहना करते हैं.”

 

Powered by themekiller.com anime4online.com animextoon.com apk4phone.com tengag.com moviekillers.com