सड़क दुर्घटना में किशोरी की मौत के मामले में आरोपित चालक के खिलाफ साधारण धाराओं में मुकदमा दर्ज किए जाने का आरोप लगाते हुए किशोरी के स्वजन तथा स्थानीय जनप्रतिनिधियों ने ऋषिकेश कोतवाली का घेराव किया। उनका आरोप था कि साधारण धाराओं में मुकदमा दर्ज होने के कारण आरोपित चालक को शीघ्र जमानत मिल गई।
बीती नौ जून को बायपास मार्ग पर आरटीओ कार्यालय के समीप एक तेज रफ्तार स्कार्पियो चालक ने एक आटो को टक्कर मार दी थी। जिसमें मौके पर खड़ी किशोरी ईशा (17 वर्ष) पुत्री बृजेश डोभाल तथा आटो चालक गंभीर रूप से घायल हो गए थे। दोनों घायलों को राजकीय चिकित्सालय से एम्स ऋषिकेश के लिए रेफर किया गया था।
जहां उपचार के दौरान 10 जून को ईशा डोभाल की मौत हो गई। इस मामले में इस ईशा डोभाल के चाचा देवेश डोभाल ने ऋषिकेश कोतवाली में आरोपित स्कार्पियो चालक के खिलाफ मुकदमा दर्ज कराया था। स्कार्पियो चालक को 10 जून को ही गिरफ्तार कर न्यायालय में पेश किया गया, जहां से उसे जमानत पर रिहा कर दिया गया।
आरोपित स्कार्पियो चालक को जमानत मिलने की सूचना पर रविवार को बड़ी संख्या में स्थानीय नागरिक तथा जनप्रतिनिधि ऋषिकेश कोतवाली आ पहुंचे। उनका आरोप था कि पुलिस ने इस मामले में आरोपित चालक पर साधारण धाराओं में मुकदमा दर्ज किया, जिससे उसे शीघ्र जमानत मिल गई। जबकि इस दुर्घटना में घायल 19 वर्षीय किशोरी की मौत हो गई।
स्थानीय नागरिकों ने कोतवाली में प्रभारी निरीक्षक रवि सैनी का घेराव किया। नागरिकों ने आरोपित चालक के खिलाफ सुसंगत धाराओं में मुकदमा दर्ज करने की मांग की। कोतवाल रवि सैनी ने कहा कि किशोरी की मृत्यु के बाद आरोपित चालक पर लगाई गई धाराओं में तब्दीली कर दी गई है।
घेराव करने वालों में पार्षद राधा रमोला, राकेश मियां, सुमित पंवार, संजय ध्यानी, बृजपाल राणा, बीएस सजवाण, राम सिंह बिष्ट, वीर सिंह रावत, केएस रावत, विनोद भट्ट, दिलीप सिंह बिष्ट, देवेश डोभाल, ममता डोभाल, विक्रमसिंह भंडारी, तुलसीराम कुडियाल, गोपाल सिंह, राहुल रावत, आशुतोष जुगरान, प्यारेलाल जुगरान आदि शामिल रहे।