क्रिकेट जगत का एक मशहूर नाम- ‘डेविड शेफर्ड’, जिन्होंने कभी टेस्ट क्रिकेट तो नहीं खेला, लेकिन 92 टेस्ट में अंपायरिंग जरूर की. 6 वर्ल्ड कप में अंपायरिंग (1983-2003) करने वाले वे अकेले अंपायर रहे. 1940 में आज (27 दिसंबर) ही के दिन पैदा हुए डेविड शेफर्ड अब इस दुनिया में नहीं हैं, लेकिन उनसे जुड़ीं यादें हमेशा ताजा रहेंगी. इस इंग्लिश अंपायर ने कैंसर से लड़ते हुए 8 साल पहले 68 साल की उम्र में अलविदा कह दिया था.
2003 वर्ल्ड कप के वाकये से क्रिकेट जगत रह गया था सन्न
शेफर्ड की जिंदगी से जुड़े वैसे तो कई किस्से हैं, लेकिन 2003 वर्ल्ड कप के वाकये से पूरा क्रिकेट जगत सन्न रह गया था. सेंचुरियन में भारत-पाकिस्तान के बीच खेले गए मुकाबले के दौरान शाहिद अफरीदी ने सचिन-सहवाग के अलावा अंपायरिंग कर रहे डेविड शेफर्ड को गालियां दी थीं. दरअसल, पाकिस्तान के 274 रनों के टारगेट का पीछा करते हुए सचिन-सहवाग ने भारत को तूफानी शुरुआत दी थी. दोनों ने 32 गेंदों में 50 रन ठोक डाले थे.
अफरीदी से नहीं देखी गई भारत की तूफानी शुरुआत
इससे झल्लाए पाकिस्तानी ऑलराउंडर अफरीदी ने गालियां निकालीं. इतना ही नहीं अफरीदी ने उस समय अंपायरिंग कर रहे डेविड शेफर्ड को भी अपशब्द कहे. हालांकि इस गलती की अफरीदी को भारी कीमत भी चुकानी पड़ी थी. उन्हें इसके लिए मैच फीस का 50 फीसदी जुर्माना भरना पड़ा था. इसके अलावा एक वनडे मैच के लिए प्रतिबंध झेलना पड़ा था. सचिन की 98 रनों की पारी ने टीम इंडिया की जीत में अहम भूमिका निभाई थी.
‘नेल्सन डांस’ ने अंपायर शेफर्ड को बना दिया मशहूर
शेफर्ड की अंपायरिंग के दौरान उनका अंधविश्वास- ‘नेल्सन डांस’ बहुत मशहूर रहा है. जब भी किसी टीम का स्कोर 111, 222, 333 पर पहुंचता था, शेफर्ड अपनी एक टांग कई बार हवा में उठाते थे. वह नेल्सन स्कोर को अशुभ स्कोर मानते थे. इसके अलावा शेफर्ड 13 तारीख पर जब भी शुक्रवार पड़ता था, तो अपनी उंगली पर माचिस की तीली बांध लेते थे. इस तरह से लड़की को छूने से गुडलक आता था, ऐसी उनकी मान्यता थी. मजे की बात है कि एक बार शेफर्ड को भारत दौरे के दौरान होटल में रूम नंबर 111 मिला था. उन्होंने उस रूम को लेने से इनकार कर दिया था, बाद में उनका रूम बदलना पड़ा था.