प्रधानमंत्री और राष्ट्रपति की सुरक्षा का जिम्मा संभालने वाले विशेष सुरक्षा दल (SPG) ने कर्नाटक से कुत्ते की स्वदेशी नस्ल ‘मुधोल हाउंड’ को ट्रेनिंग के लिए चुना है, जिससे इनके विशेष बल में शामिल होने की संभावना बढ़ गई है। एसपीजी ने मुधोल हाउंड में दिलचस्पी दिखाई है और बगलकोट जिले के मुधोल शहर में श्वान अनुसंधान व सूचना केंद्र (सीआरआईसी) से प्रयोग के तौर पर ट्रेनिंग के लिए दो कुत्तों को चुना है।

सीआरआईसी के निदेशक सुशांत हांडे ने बताया कि हमें नहीं मालूम कि उनकी (एसपीजी) जरूरतें क्या हैं लेकिन वे प्रदर्शन से खुश हैं। यह पहली बार नहीं है जब सुरक्षा एजेंसियां इस नस्ल से प्रभावित हुई हैं। भारतीय सेना, वायु सेना, केंद्रीय सशस्त्र अर्द्धसैन्य बल, रक्षा अनुसंधान एवं विकास संगठन (डीआरडीओ), राज्य पुलिस और वन विभाग पहले भी कुछ वक्त के लिए इन कुत्तों की सेवाएं ले चुका है।
विषम मौसम परिस्थितियां झेलने में सक्षम
हांडे ने कहा, ‘अभी तक मिली प्रतिक्रिया बहुत अच्छी है। यह नस्ल भारतीय सेना में परीक्षण पास कर चुकी है। उनका कहना है कि यह नस्ल हिमालयों समेत विषम मौसम परिस्थितियों में भी काम कर सकती है। सेना के अधिकारियों का कहना है कि यह मौसम की सभी परिस्थितियों में जीवित रह सकती है।’
लंबी दूरी से चीजों को देखने की क्षमता
कर्नाटक पशु चिकित्सा, पशु और मत्स्य विज्ञान विश्वविद्यालय के निदेशक बी वी शिवप्रकाश ने कहा कि मुधोल हाउंड को बहुत लंबी दूरी से चीजों को देखने की उसकी क्षमता के लिए जाना जाता है। उन्होंने कहा, ‘इस कुत्ते को भागने की उसकी क्षमता, उसके कद और लंबी दूरी से चीजों को देखने की क्षमता के लिए जाना जाता है। किसी अन्य नस्ल से तुलना करने पर, यह किसी भी मौसम में जीवित रह सकता है।’
स्वदेशी नस्ल का होना भी है खास
शिवप्रकाश ने कहा कि चूंकि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ‘मेक इन इंडिया’ अभियान पर जोर दे रहे हैं तो कुत्ते की यह स्वदेशी नस्ल भी ध्यान आकर्षित कर रही है। इस नस्ल को वफादार और शिष्ट माना जाता है। मालूम हो कि एसपीजी की स्थापना 1985 में हुई थी और यह प्रधानमंत्री, पूर्व प्रधानमंत्रियों और उनके परिवार के सदस्यों को सुरक्षा मुहैया कराती है।
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