केंद्र ने मंगलवार को सुप्रीम कोर्ट को बताया कि एक नया डेटा संरक्षण विधेयक तैयार है और इसे संसद के मानसून सत्र में पेश किया जाएगा। अटॉर्नी जनरल आर वेंकटरमण ने न्यायमूर्ति केएम जोसेफ की अध्यक्षता वाली संविधान पीठ को यर जानकारी दी। बेंच में जस्टिस अजय रस्तोगी, अनिरुद्ध बोस, हृषिकेश रॉय और सी टी रविकुमार भी शामिल थे, जिन्होंने सबमिशन पर ध्यान दिया।
‘मामले को मुख्य न्यायाधीश के सामने रखा जाए’
बेंच ने निर्देश दिया कि मामले को मुख्य न्यायाधीश डी वाई चंद्रचूड़ के समक्ष रखा जाए, ताकि एक नई पीठ का गठन किया जा सके, क्योंकि न्यायमूर्ति जोसेफ 16 जून को सेवानिवृत्त होने वाले हैं। मामले पर अब अगस्त 2023 के पहले सप्ताह में सुनवाई की जाएगी।
‘अदालत की सुनवाई को विधायी प्रक्रिया से नहीं जोड़ना चाहिए।’
याचिकाकर्ताओं की ओर से पेश वरिष्ठ अधिवक्ता श्याम दीवान ने कहा कि अदालत को अदालत की सुनवाई को विधायी प्रक्रिया से नहीं जोड़ना चाहिए। उन्होंने कहा कि विधायी प्रक्रिया जटिल है और इसे फिर से कुछ समितियों को भेजा जा सकता है।
दो छात्रों ने दायर की याचिका
शीर्ष अदालत दो छात्रों, कर्मण्य सिंह सरीन और श्रेया सेठी द्वारा दायर याचिका पर सुनवाई कर रही थी, जिन्होंनेय यूजर्स द्वारा साझा किए गए कॉल, फोटो, टेक्स्ट, वीडियो और दस्तावेजों तक पहुंच प्रदान करने के लिए व्हाट्सएप और उसके मूल फेसबुक के बीच हुए अनुबंध को चुनौती दी थी, यह कहते हुए कि यह उनकी निजता और मुक्त अभिव्यक्ति का उल्लंघन है।