बीते साल केंद्र सरकार ने 500 और 1000 के नोटों पर बैन लगा दिया था। जिसके बाद देश में हाहाकार मच गया था। सरकार ने पुराने नोटों को बैंक में वापस जमा कराने के लिए 31 मार्च 2017 तक का वक्त दिया था। लेकिन उनका क्या जिनके पास आज भी पुराने नोट बचे हैं। अगर आपके पास अब भी 1,000 और 500 रुपये के पुराने नोट बचे हैं तो इसे कम-से-कम जुलाई के आखिर तक सुरक्षित रखिए।
सुप्रीम कोर्ट जुलाई में यह तय करेगा कि जो लोग उचित कारणों से या 8 नवंबर 2016 को नोटबंदी की घोषणा करते वक्त प्रधानमंत्री के वादे पर ऐतबार कर 30 दिसंबर 2016 तक पुराने नोट बंद नहीं कर सके, क्या उनके लिए सरकार को एक और मौका दिए जाने को कहा जाना चाहिए या नहीं। गौरतलब है कि प्रधानमंत्री ने 8 नवंबर के भाषण में चलन से बाहर किए गए नोट 30 दिसंबर के बाद भी जमा कराने का मौका दिए जाने की बात कही थी।
मंगलवार को सुप्रीम कोर्ट में संबंधित याचिका पर सुनवाई के दौरान अटॉर्नी जनरल मुकुल रोहतगी ने केंद्र सरकार का पक्ष रखा। उन्होंने कहा कि नोटबंदी पर लाए गए अध्यादेश में मियाद बढ़ाकर नागरिकों को नोट जमा कराने का एक और मौका दिए जाने की कोई बाध्यता नहीं है। अध्यादेश में चलन से बाहर हुए नोटों को रखना अपराध माना गया है।
अभी-अभी सबसे बड़ा खुलासा: कुलभूषण जाधव को पहले ही मार चुका है पाकिस्तान, सच आया सामने
रोहतगी ने कहा कि सरकार की राय में अब बंद हो चुके नोटों को जमा कराने का कोई दूसरा मौका नहीं दिया जाएगा। केंद्र के शपथ पत्र में एक मामले का जिक्र है जिसमें याचिकाकर्ता ने 66.80 लाख रुपये मूल्य के पुराने नोट जमा कराने की मांग की है और कहा कि वह इसलिए नोट जमा नहीं करा सका क्योंकि उसका बैंक अकाउंट केवाइसी से जुड़ा नहीं था।
Live Halchal Latest News, Updated News, Hindi News Portal