इलाहाबाद हाई कोर्ट ने राज्य सरकार से पूछा है कि कोरोना महामारी काल के दौरान घरेलू हिंसा पीड़ितों की शिकायतों को सुनकर निपटारे के क्या कदम उठाए गए हैं? हाई कोर्ट ने अपर महाधिवक्ता मनीष गोयल से स्टेटस रिपोर्ट पेश करने को कहा है। याचिका की सुनवाई जुलाई के अंतिम सप्ताह में होगी।
यह आदेश न्यायमूर्ति पंकज मित्तल व न्यायमूर्ति यशवंत वर्मा की खंडपीठ ने आला हजरत हेल्पिंग सोसायटी की जनहित याचिका पर दिया है। याचिका में घरेलू हिंसा पीड़ितों की शिकायतें सुनने एवं निस्तारण के लिए नोडल अधिकारी की नियुक्ति की मांग की गई है। याची का कहना है कि नोडल अधिकारी की नियुक्ति न किये जाने से घरेलू हिंसा पीड़ितों की शिकायतों पर कोई कार्रवाई नहीं की जा रही है और घटनाओं में बढ़ोतरी हो रही है। ऐसी घटनाओं के रोकथाम के लिए कदम उठाये जाने चाहिए, ताकि उपचारात्मक उपायों पर अमल किया जाए।