आईआईटी के 54वें दीक्षांत समारोह को मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने संबोधित करते हुए कहा कि गुणवत्तापरक तकनीकी शिक्षा प्रदान करने में संस्थानों को महत्वपूर्ण योगदान है। प्रधानमंत्री ने जो विजन 21वीं सदी के लिए दिया है, उसमें आईआईटी को वैश्विक चुनौतियों का सामना करने में अहम भूमिका है। कोरोना महामारी में प्रधानमंत्री ने आत्मनिर्भर भारत की परिकल्पना दी है। नई शिक्षा नीति नए भारत की तस्वीर विकसित कर रही है।
पांच वर्षों में यूपी के 250 स्टार्टअप को बढ़ावा मिलेगा
आईआईटी कानपुर, आईआईटी बीएचयू, आईआईएम लखनऊ प्रदेश में मौजूद हैं, जिनके माध्यम से प्रदेश के संस्थानों व छात्रों को मार्गदर्शन देने में सहायता मिलती है। आईआईटी कानपुर ने प्रदेश सरकार के साथ मिलकर अनेक कार्य किए हैं। सेंटर ऑफ एक्सीलेंस, स्टार्टअप की नीति को क्रियान्वित करने में सहायता, डिफेंस कॉरिडोर में तकनीकी पार्टनर के रूप में सहायता की है। सूचना प्रौद्योगिकी के साथ गैर सूचना प्रौद्योगिकी पॉलिसी तैयार की है। आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस का पहला एक्सीलेंस सेंटर आईआईटी के नोएडा में बना है, जो पांच वर्षों में 250 स्टार्टअप को बढ़ावा देगा।
एसएमआरटी की स्थापना के लिए सैद्धांतिक सहमति
आईआईटी कानपुर और एकेटीयू की मदद से एकेटीयू में सूचना एवं प्रौद्योगिकी मंच तैयार किया गया है। वर्तमान में राज्य सरकार आईआईटी के साथ मिलकर कोरोना जैसी महामारी की चुनौती से निपटने के लिए एसएमआरटी की स्थापना के लिए सैद्धांतिक सहमति दी है। राज्य सरकार की संस्थाएं आईआईटी के साथ मिलकर इसे आगे बढ़ाएंगी। राज्य में एसएमआरटी में चिकित्सा के साथ शोध को बढ़ावा देगा।
शिक्षा को गुणवत्तापरक बनाने में आईआईटी की मदद ली जाएगी
कोरोना में प्रदेश ने एक मॉडल प्रस्तुत किया। आईआईटी कानपुर ने एक विशिष्ट शोध के माध्यम से मॉडल को प्रस्तुत किया है। तकनीकी संस्थानों की शिक्षा को गुणवत्तापरक बनाने के लिए आईआईटी की मदद लेंगे। प्रदेश के तकनीकी संस्थानों में ड्रोन टेक्नोलॉजी, एआई, आईओटी, रोबोटिक्स, मशीन लर्निंग के क्षेत्र में आईआईटी की मदद चाहता हूं।