लखनऊ: बहुजन समाज पार्टी (बसपा) पर एक ही परिवार के कब्जे का इल्जाम लगाते हुए 20 वर्षों से पार्टी के लिए काम करने वाले शेख उबैद अहमद ने बसपा सुप्रीमो मायावती को अपना इस्तीफा भेज दिया है. बता दें कि अहमद बसपा के पूर्व कोर्डिनेटर रह चुके हैं. उन्होंने पार्टी प्रमुख को पत्र लिखते हुए सभी पदों से इस्तीफा दे दिया है. इस्तीफे की वजह उन्होंने पार्टी को एक ही परिवार द्वारा चलाया जाना बताया है.

शेख उबैद अहमद ने लिखा है कि केवल एक परिवार के कारण पार्टी में अब कोई बड़ा नेता नहीं रहा है. उन्होंने हाल ही में भाजपा छोड़कर सपा में जाने वाले स्वामी प्रसाद मौर्य को भी पार्टी हितैषी भी कहा है. उन्होंने मौर्य को अपना गुरु और आदर्श बताया. इस्तीफा देने के बाद चुनाव लड़ने के सवाल पर शेख उबैद ने कहा कि वे चुनाव नहीं लड़ना चाहते, मगर संगठन के लिए काम करना चाहते हैं.
शेख उबैद अहमद के अनुसार, बसपा कांशीराम के कदम से भटक कर अब किसी और दिशा में चल रही है. पार्टी दलितों, पिछड़ों और अल्पसंख्यकों के प्रति नकारात्मक रवैया अपना रही है, जिससे पार्टी को बहुत नुकसान हो रहा है. उन्होंने कहा कि बसपा महासचिव सतीश चंद्र मिश्रा, उनकी पत्नी कल्पना मिश्रा, बेटा कपिल मिश्रा सहित दामाद परेश मिश्रा पार्टी चला रहे हैं. इसके चलते मुसलमानों और पिछड़ों से बात करने के लिए अब कोई नेता नहीं बचा है. साथ ही इसके लिए किसी और को आगे भी नहीं बढ़ाया जा रहा है.
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