कोरोना संक्रमण, टोटल लॉकडाउन और सूर्य ग्रहण। आज इन तीनों का नजारा शहर में देखने मिला। एक तरफ जहां कोरोना के पॉजिटिव केस शहर में बढ़ रहे हैं वहीँ इसकी रोकथाम के लिए प्रशासन ने रविवार को टोटल लॉकडाउन कर दिया था। जिससे ग्रहण का पुण्य स्नान करने वाले लोग नर्मदा तटों पर नहीं पहुंच पाए। लोगों का कहना है कि ऐसा ज्ञात इतिहास में पहली बार देखने मिला जब लोग ग्रहण के बाद नर्मदा तटों पर ना जाकर घरों पर ही रहे।
सूने रहे घाट
आमतौर पर जब भी ग्रहण पड़ा है तो जबलपुर के नर्मदा तटों पर हजारों की संख्या में लोग पुण्य स्नान करने के लिए पहुंचते थे। लेकिन इस बार कोरोना संकट के चलते तटों पर वीरानी छायी रही। घाट पर वही लोग दिखे जो वहां पर रहते हैं । इनमें ज्यादातर भिक्षुको की संख्या रही जिनका कहीं कोई ठिकाना नहीं रहता। घाट पर रहने वाले पंडों के तखत भी खाली रहे।
ग्वारीघाट में झंडा चौक पर पुलिस का सख्त पहरा रहा। यहां पहुँचने वालों को घाट पर नहीं जाने दिया गया सिर्फ वही लोग जा रहे थे जो आवश्यक सेवाओं के दायरे में थे। इसी तरह ग्वारीघाट जाने वाली रोड पर सख्ती दिखी। पुलिस ने यहाँ बैरिकेड लगा रखे थे। ग्वारीघाट के सभी घाटों पर पुलिस का सख्त पहरा रहा। इसी तरह का नजारा तिलवारा घाट, सरस्वती घाट और भेड़ाघाट में देखने मिला।
मंदिरों में लटके रहे ताले
सूर्य ग्रहण के चलते शहर के मंदिरों में शनिवार की रात से ही बंद हो गए थे। ऐसे में मंदिरों के गेट पर ताले लटके मिले। मंदिर परिसर में पुजारी और भक्त जरूर भजन कीर्तन और जप करते दिखे। ग्रहण के बाद मंदिरों में शुद्धिकरण किया जाएगा उसके बाद भगवान के पट खोले जाएंगे। सभी प्रकार की तैयारियों के बाद लगभग 5:00 बजे से मंदिरों के पट खुलेंगे और भक्त दर्शन कर पाएंगे।
सुबह से तैनात रहा पुलिस का अमला
नर्मदा के घाटों पर श्रद्धालु ग्रहण के बाद स्नान करने ना पहुंचे इसके लिए प्रशासन ने सख्त निर्देश दिए थे। जिसे देखते हुए सड़कों पर सुबह से ही पुलिस का अमला तैनात रहा । खास तौर पर उन सड़कों पर ज्यादा पुलिस दिखी जो नर्मदा तटों की ओर जाती हैं। यहां पहुंचने वालों से पूछताछ के बाद ही आगे जाने दिया गया पुलिस की यही कोशिश रहेगी घाटों पर लोग स्नान ना करें। जिन्हें नहीं मालूम था उन्हें पुलिस ने वापस घरों की ओर रवाना किया। इस बीच कुछ ऐसे लोग भी थे जो छिपकर स्नान करने पहुंचे थे।