आज के ग्रहण से जुड़ी 10 बड़ी बातें:
1.ग्रहण का वलयाकार रूप सुबह उत्तर भारत के राजस्थान, हरियाणा और उत्तराखंड के कुछ हिस्सों में दिखाई देगा. इन राज्यों के भीतर भी कुछ प्रमुख स्थान हैं, जहां से स्पष्ट पूर्ण ग्रहण दिखेगा, जिनमें देहरादून, कुरुक्षेत्र, चमोली, जोशीमठ, सिरसा, सूरतगढ़ शामिल हैं.
2. यह कांगो, सूडान, इथियोपिया, यमन, सऊदी अरब, ओमान, पाकिस्तान और चीन से भी होकर गुजरेगा.
3. चेन्नई में रविवार को सुबह 10.22 बजे से लेकर दोपहर 1.41 बजे तक आंशिक सूर्यग्रहण देखने को मिलेगा.
4. बेंगलुरु में रविवार सुबह 10:12 बजे से लेकर दोपहर 1:31 बजे तक आंशिक सूर्यग्रहण दिखाई देगा.
5. वलयाकार सूर्य ग्रहण तब होता है जब चंद्रमा का कोणीय व्यास सूर्य से कम हो जाता है जिससे चंद्रमा सूर्य को पूरी तरह से नहीं ढक पाता है. इसके परिणामस्वरूप, चंद्रमा के चारों ओर सूर्य का बाहरी हिस्सा दिखता रहता है, जो एक अंगूठी का आकार ले लेता है. यह ‘अग्नि-वलय’ की तरह दिखता है. इसे रिंग ऑफ फायर भी कहा जाता है.
6. दिल्ली में लगभग 94 प्रतिशत, गुवाहाटी में 80 प्रतिशत, पटना में 78 प्रतिशत, सिलचर में 75 प्रतिशत, कोलकाता में 66 प्रतिशत, मुंबई में 62 प्रतिशत, बेंगलुरु में 37 प्रतिशत, चेन्नई में 34 प्रतिशत, पोर्ट ब्लेयर में 28 प्रतिशत ग्रहण दिखाई देगा.
7. सूर्य ग्रहण अमावस्या के दिन होता है जब चंद्रमा, पृथ्वी और सूर्य के बीच में आ जाता है और जब तीनों खगोलीय पिंड एक रेखा में होते हैं.
8. नेहरू तारामंडल के निदेशक अरविंद परांजपे के मुताबिक, ”दिल्ली जैसी जगहों पर दिन में 11 से 11.30 बजे तक पांच-सात मिनट तक अंधेरा रहेगा.”
9. आपको बता दें, आज साल का सबसे बड़ा दिन है और इस वजह से इस ग्रहण को खास माना जा रहा है. साल के सबसे बड़े दिन को ग्रीष्म संक्रांति कहा जाता है और कई सालों में एक बार ऐसा होता है. इससे पहले साल 2001 में 21 जून को सूर्य ग्रहण लगा था.
10. दिल्ली में नेहरू तारामंडल की निदेशक एन रत्नाश्री ने कहा कि अगला वलयाकार ग्रहण दिसंबर 2020 में पड़ेगा, जो दक्षिण अमेरिका से देखा जाएगा. 2022 में एक और वलयाकार ग्रहण होगा, लेकिन वह शायद ही भारत से दिखाई देगा.
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