एसपी सिटी विजय पाल सिंह ने बताया कि गोरखपुर आईजी कार्यालय समेत खुफिया इनपुट मिलते ही सतर्कता चाक चौबंद कर दी है। सभी बैरियर पर सघन तलाशी हो रही है। खासकर रामनगरी में सुरक्षा बल व एजेंसियां हाई अलर्ट पर हैं। खुफिया एजेंसियों के मुताबिक दक्षिण भारत से जुड़े दोनों आतंकियों ख्वाजा मोइनद्दीन व अब्दुल समद की पहचान के साथ फोटो भी पुलिस को सर्कुलेट की गई है।
उम्मीद है कि सतर्कता से वे भारत-नेपाल सीमा से सटे किसी जिले से नेपाल भाग सकते हैं। इनकी तलाश में पूरे गोरखपुर जोन में हाईअलर्ट जारी किया गया है। आखिरी बार दोनों को पश्चिम बंगाल के सिलीगुड़ी में देखा गया था। खुफिया एजेंसियों के मुताबिक, अंतरराष्ट्रीय आतंकी संगठन इस्लामिक स्टेट (IS) से जुड़े दक्षिण भारत में सक्रिय रहे ख्वाजा मोइनद्दीन को सितम्बर 2017 में एनआईए ने चेन्नई से पकड़ा था।
जांच में पता चला था कि सीरिया से लौटने के बाद वह दक्षिण भारत समेत देश के अन्य राज्यों में युवाओं का ब्रेनवाश कर उन्हें आईएसआईएस से जोड़ता था। वह पाक समर्थित आतंकी संगठन इंडियन मुजाहिदीन के भी संपर्क में है। जानकारी के मुताबिक दक्षिण भारत में ही सक्रिय दूसरे आतंकी अब्दुल समद को फरवरी 2018 में पकड़ा गया था। पुणे विस्फोट से जुड़े आतंकी संगठन लश्कर-ए-तैयबा के सदस्य को समद ने हवाला के जरिए खाड़ी देश से मिले 3.50 लाख रुपये पहुंचाए थे। इसके अलावा उसका संबंध सिमी से भी था। वह आतंकियों को हथियार भी मुहैया कराता है।