प्रदेश के खेल मंत्री चेतन चौहान ने मंगलवार यानी 09 मई को उत्तर प्रदेश ओलंपिक एसोसिएशन (यूपीओए) समेत प्रदेश के खेल संघों के प्रतिनिधियों से मुलाकात की। केडी सिंह बाबू स्टेडियम में आयोजित बैठक में खेल मंत्री ने ओलंपिक में प्रदेश के खिलाड़ियों के लिए पाच ओलंपिक पदक जीतने का लक्ष्य तय करके कार्ययोजना बनाने की बात कही, तो खेल संघों ने ज्यादा सुविधा और फंड की।
खेल मंत्री ने कहा कि इस दिशा में प्रयास तो खेल संघों को ही करना होगा, सरकार तो उनके सहयोगी की भूमिका में पीछे खड़ी रहेगी और इस लक्ष्य को प्राप्त करने में किसी प्रकार का अभाव नहीं होने देगी। यूपीओए के सचिव और भारतीय ओलंपिक संघ (आइओए) के ट्रेजरार आनंदेश्वर पाडेय ने चेतन चौहान का ध्यान इस बात की ओर दिलाया कि यूपीओए और अन्य खेल संघों के पास अपना स्थायी ऑफिस तक नहीं है। खेलों के विकास व खिलाड़ियों को बेहतर सुविधाएं दिए जाने के संबंध में विचार-विमर्श करने के लिए खेल मंत्री के साथ खेल निदेशक और उत्तर प्रदेश हॉकी के सचिव डॉ. आरपी सिंह, वॉलीबॉल संघ के सुनील कुमार तिवारी, राइफल संघ के रामेंद्र शर्मा, तैराकी संघ के रॉविन कपूर, टेनिस संघ के नवनीत सहगल, खो-खो से विनोद कुमार सिंह, भारोत्तोलन के हरभजन सिंह, बैडमिंटन संघ के अरुण कक्कड़, कबड्डी संघ के राजेश कुमार सिंह, कराटे के टीपी हवेलिया, वूशू संघ के मनीष कक्कड़ और जूडो से आयशा मुनव्वर भी उपस्थित थे।1खेल मंत्री ने कहा कि सरकार का लक्ष्य है कि अगले दो-तीन बरसों में सरकार और खेल संघों को मिलकर ऐसे प्रयास करने चाहिए कि प्रदेश के कम से कम पाच खिलाड़ी ओलंपिक मेडल जीतकर लाएं। खेल मंत्री ने कहा कि खेल संघ चाहें तो विशेष सुविधा वाले स्टेडियम खेल विभाग की अनुमति से लेकर खुद उनका संचालन कर सकते हैं। खेल निदेशक इसके लिए फीस निर्धारित करेंगे। खेल निदेशक डॉ.आरपी सिंह ने बताया कि खिलाड़ियों को बेहतर सुविधाएं उपलब्ध कराने की दिशा में सरकार निरंतर प्रयासरत है और पहले जहा खिलाड़ियों को किट के लिए 1000 रुपये मिलते थे उसे बढ़ाकर 2500 रुपये कर दिया गया है। अंतरराष्ट्रीय प्रतियोगिताओं में मेडल विजेता खिलाड़ियों को जहा नकद पुरस्कार प्रदान किए जा रहे है, वहीं सरकार वरिष्ठ खिलाड़ियों के लिए एक पेंशन योजना भी लागू करने जा रही है। सरकार का यह प्रयास है कि अंतरराष्ट्रीय स्तर पर मेडल जीतकर प्रदेश का गौरव बढ़ाने वाले खिलाड़ियों को नकद पुरस्कार के साथ-साथ उन्हें सरकारी सेवा में नियुक्ति पत्र भी प्रदान किए जाएं। प्रदेश के 67 जिलों में खेल स्टेडियम और 68 जिलों में बहुउद्देश्यीय हॉल तैयार किए जा रहे है। यूपीओए सचिव आनन्देश्वर पाडेय ने खेल मंत्री को मागपत्र सौंपा, जिसमें यूपीओए एवं सभी राज्य खेल संघों की कार्यप्रणाली को प्रभावी व पारदर्शी बनाने के लिए लखनऊ में कार्यालय के लिए जमीन उपलब्ध कराने की माग की गई। उन्होंने कहा कि ओलंपिक भवन का निर्माण एसोसिएशन अपने स्नोतों से करा लेगा। अन्य मागों में प्रदेश मे यूथ राष्ट्रीय खेलों का आयोजन कराने, खेल संघों को ऑफिस खर्च के लिए वार्षिक अनुदान के रूप मे 6 लाख रुपये प्रतिवर्ष देने, खेल प्रतियोगिताओं के आयोजन के लिए अनुदान राशि 15 लाख तक देने, छात्रवास के खिलाड़ियों को उचित प्रोटीन, फूड सप्लिमेंट, न्यूट्रीशियन उपलब्ध कराने, प्रत्येक दो वर्ष के अंतराल पर राज्य खेल का आयोजन कराने, यात्र के दौरान खिलाड़ियों को दैनिक भत्ता देने की माग शामिल है। इस पर खेल मंत्री ने कहा कि हम प्रयास कर रहे हैं कि 2-3 एकड़ का भूखंड लेकर एक ही स्थान पर उत्तर प्रदेश ओलंपिक एसोसिएशन व अन्य राज्य खेल संघों के लिए कार्यालय बनवाया जाए। सरकार यह प्रयास कर रही है कि सभी राज्य खेल संघों को ऑफिस खर्च के लिए कम से कम तीन लाख रुपये का वार्षिक अनुदान दिया जाए।